मेरठ: थानेदार ने की सड़क किनारे दीये बेच रही बच्चियों की मदद, खिल उठे बच्चों के चेहरे
मेरठ में थानेदार की नजर सड़क किनारे बैठी बच्चियों पर पड़ी जो दीये बेच रहीं थीं. बच्चे उदास बैठे थे जिसके बाद थानेदार ने इनसे बात की और खुद दीये भी खरीदे. दीये बिक गए तो बच्चों के चेहरे खिल उठे.
मेरठ: दीप जले, प्रकाश हो उदास चेहरे खिल उठें इससे बेहतर त्यौहार का और क्या हो सकता है. दीपावली के दिन हर कोई दीये से अपने घर को रोशन करता है. लेकिन कुछ ऐसे लोग भी हैं, जो दूसरों के जीवन से अंधकार दूर करने की पहल करते हैं और जरूरतमंदों की मदद करते हैं. मेरठ में भी एक ऐसा ही मामला देखने को मिला है.
पेश की मिसाल मेरठ के टीपी नगर के थानेदार ने दरियादिली दिखाते हुए एक अनोखी मिसाल पेश की. थानेदार ने रास्ते पर सड़क के किनारे दीये बेच रही बच्चियों से दीये खरीदे और फिर वहां खड़े होकर लोगो से भी दीये खरीदने की अपील की. थानेदार ही इस अपील का लोगों ने भी स्वागत किया.
थानेदार ने खरीदे दीये पुलिस के सख्त रवैये और फरियादियों की सुनवाई न करने के किस्से तो आम हैं, लेकिन इस दिवाली मेरठ में एक थानेदार की दरियादिली भी देखने को मिली. थाना ट्रांसपोर्ट नगर के थानेदार विजय गुप्ता गश्त पर निकले थे. इसी दौरान थानेदार की नजर सड़क किनारे बैठी बच्चियों पर पड़ी जो दीये बेच रहीं थीं और उदास बैठी थीं. थानेदार ने इन बच्चियों को उदास देखकर उनसे बात की और खुद दीये भी खरीदे.
लोगों को किया प्रेरित थानेदार ने दीये खरीदे और इस दौरान अन्य पुलिसकर्मियों ने बच्चों के पास खड़े होकर सड़क से गुजर रहे लोगों को भी मासूमों से दीये खरीदने के लिए प्रेरित किया. बच्चों के दीये बिक गए तो उनके चेहरे खिले हुए नजर आए. लोग भी पुलिस की इस पहल की सराहना करते हुए नजर आए.
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