बारिश की मार से किसान परेशान, रामगंगा नदी का जलस्तर बढ़ने से डूब गए खेत-खलिहान, सब्जियों की फसल नष्ट
Moradabad News: यूपी के मुरादाबाद में रामगंगा नदी के बढ़ते जलस्तर से किसानों की कमर टूटने लगी है. नदी का पानी खेतों में भर जाने से सब्जियां बर्बाद हो रही हैं, जिससे किसान को बड़ा नुकसान हो रहा है.
Moradabad Flood Update: पहाड़ों से लेकर मैदानी इलाकों तक में लगातार हो रही बारिश से नदियों का जल स्तर बढ़ गया है और बाढ़ बारिश का पानी किसानो के खेतों में घुंस आने से फसलों को नुकसान हो रहा है. उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद में रामगंगा नदी उफान पर है और नदी का पानी खेतों में भर जाने से नदी किनारे सब्जियों के खेतों में सब्जियां बर्बाद हो रही हैं, जिस से किसानों को बड़ा नुकसान हो रहा है.
इतना ही नहीं अपने खेतों पर आने जाने के लिए किसानो को नाव का सहारा लेना पड़ रहा है. उफनती नदी की धार में नाव से जाना भी जान जोखिम में डालने के बराबर है, लेकिन किसानो की मजबूरी है क्योंकि पशुओं के लिए चारा लाना और अपनी आजीविका के लिए सब्जियां खेत से तोड़ कर लाना यहां के किसानो की मजबूरी है, इसलिए नाव से ही आवाजाही हो रही है. मुरादाबाद में पिछले तीन दिनों से लगातार बारिश हो रही है और अभी मौसम विभाग ने अगले कुछ दिन के लिए भारी बारिश का अलर्ट जारी कर रखा है.
खेत में जाने के लिए नाव का सहारा ले रहे किसान
उत्तराखंड से आने वाली रामगंगा नदी का पानी आसपास के निचले इलाकों के गांवों में घुस रहा है, जिससे ग्रामीण इलाकों में लोगों को खासी परेशानी उठानी पड़ रही है. अगर ऐसे ही बारिश होती रही तो मुश्किलें और बढ़ सकती हैं. स्थानीय किसान राम प्यारी ने बताया कि खेत से सब्जी लाने में काफी परेशानी हो रही है. पानी में पैर में कांच आदि कुछ भी लगा जाता है. उन्हीं के साथ पशुओं का चारा ला रहे राम कुंवर ने बताया कि खेत पर आने जाने के लिए उन्हें 15 से 20 रुपये कश्ती वाले को देने होते हैं तब वह नदी पार कर पाते हैं.
बारिश से सब्जियों की फसल नष्ट
खेतों में पानी भर आया है हरी सब्जियां सब बर्बाद हो गयई हैं. अपने सब्जी के खेतों में तोरई की बेलों को पानी से निकाल कर सीधा कर लौट रहे तोता राम ने बताया कि पानी के कारण बहुत ज्यादा परेशानी हो रही है. नाव से बैलगाड़ी में चारा लाद रहे रफीक ने बताया कि हमें बैलों को तैराकर ले जाना पड़ता है और चारा नाव से किनारे तक लाते हैं. बहुत अधिक परेशानी हो रही है. इसमें जान का भी खतरा बना रहता है. सारे जंगल में फसलें गिर गई हैं.
नदी के पानी से किसानों की फसलें बर्बाद
नाव के मल्लाह ने बताया कि किसानों की फसलें बर्बाद हो गई हैं. ऐसे में हमें कोई फायदा नहीं है, जब फसल ही नहीं रहेगी तो किसान खेतों पर जा कर क्या करेंगे. सब जगह पानी भरता चला जा रहा है. रामगंगा नदी का पानी पिछले तीन दिनों से लगातार बढ़ता ही जा रहा है और अगर कालागढ़ डाम से पानी छोड़ा गया तो आने वाले दिनों में मुश्किलें और बढ़ सकती हैं.
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