Sambhal Violence Update: संभल हिंसा के बीच समाजवादी पार्टी के प्रतिनिधिमंडल ने सोमवार को मुरादाबाद की जेल में बंद आरोपियों से मुलाकात की थी. जिसके बाद मुरादाबाद जेल प्रशासन पर योगी सरकार की गाज गिर गई है. इस मामले में डिस्ट्रिक्ट जेल के जेलर पीपी सिंह और डिप्टी जेलर को विक्रम सिंह यादव को सस्पेंड कर दिया गया है. साथ ही जेल अधीक्षक के खिलाफ कार्रवाई के लिए शासन को लिखा गया है. 


सूत्रों के मुताबिक संभल हिंसा के आरोपियों से सपा नेताओं की मुलाकात मामले में ये कार्रवाई की गई है. इसके तहत मुरादाबाद के जेलर पीपी सिंह और डिप्टी जेलर विक्रम सिंह यादव को सस्पेंड किया गया. सपा प्रतिनिधिमंडल ने सोमवार को जेल में आरोपियों से मुलाकात की थी और उनकी परेशानियां जानने की कोशिश की थी. 


जेल मैन्युअल का पालन किए बिना मुलाकात
दावा है कि सोमवार को संभल हिंसा में गिरफ्तार किए गए आरोपियों से समाजवादी पार्टी के स्थानीय नेता जेल मैन्युअल का पालन किए बिना ही मुलाकात करने पहुंच गए थे. इनमें पूर्व सपा सांसद एसटी हसन, सपा विधायक नवाबजान, चौधरी समरपाल सिंह समेत स्थानीय नेता शामिल थे. आरोप है कि पूर्व सांसद और विधायक के साथ कुछ नेताओं ने बिना पर्ची के ही हिंसा के आरोपियों से मुलाकात की थी. 


संभल में जिला जेल नहीं है. ऐसे में संभल हिंसा के आरोपियों को मुरादाबाद की जेल में रखा गया है. नियमों के मुताबिक सांसद और विधायकों को अपने जिले की जेल में बंद कैदियों से मुलाकात के विशेष अधिकार मिलते हैं. जिसके तहत इन नेताओं ने उनसे मुलाकात की लेकिन, उनके साथ अन्य दूसरे नेता भी बिना पर्ची के आरोपियों से मिले. 


संभल में 24 नवंबर को मस्जिद के सर्वे को लेकर हिंसा भड़क गई थी, जिसमें चार लोगों की मौत हो गई थी. इस मामले को लेकर सियासत भी जमकर हो रही है. सपा और कांग्रेस नेता संभल जाने पर अड़े हैं. लेकिन, प्रशासन की ओर से अब तक इसे लेकर अनुमति नहीं दी गई है. जिलाधिकारी के आदेश पर संभल में 10 दिसंबर तक बाहरी के आने-जाने पर रोक लगाई गई है.