इटावाः सांसद रामशंकर कठेरिया ने किया जिला अस्पताल का निरीक्षण, बंद पड़े वेंटिलेटर को चालू करवाने के दिये निर्देश
उत्तर प्रदेश के इटावा से सांसद प्रोफेसर रामशंकर कठेरिया ने शुक्रवार को जिला अस्पताल में एल-2 कोविड अस्पताल का निरीक्षण किया. इस दौरान उन्होंने अस्पताल में बदहाली को लेकर सीएमओ को लताड़ लगाई, उन्होंने 24 घंटे में व्यवस्था सुचारु करने और बंद पड़े वेंटिलेटर को चालू करवाने के निर्देश दिए हैं.
इटावाः कोरोना की दूसरी लहर का असर जैसे-जैसे कम होता जा रहा है, वैसे वैसे सरकार के नुमाइंदे जनप्रतिनिधि कोविड-19 मरीजों का हाल लेने अस्पताल की ओर रुख करने लगे हैं. इसी क्रम में इटावा सांसद रामशंकर कठेरिया शुक्रवार को इटावा ज़िला अस्पताल में बने एल-2 कोविड अस्पताल का निरीक्षण करने पहुंचे.
मौके पर मौजूद रहे प्रशासनिक अधिकारी
सांसद रामशंकर कठेरिया ने निरीक्षण कर मौके पर मौजूद एडीएम जय प्रकाश, एसडीएम सत्यनारायण और सीएमओ भगवानदास भिरोरिया ने सांसद को अस्पताल के बारे में अवगत कराते हुए बताया कि अस्पताल में किसी प्रकार के ऑक्सीजन दवाएं और वेंटिलेटर की कोई कमी नहीं है. वहीं वास्तविकता में अस्पताल के हालात इसके बिल्कुल उलट हैं.
बंद पड़े वेंटिलेटर को चालू करवाने के निर्देश
बताया जा रहा है कि पिछले एक महीने से अस्पताल में धूल फांक रहे वेंटिलेटर आज भी बंद पड़े हैं. जिला प्रशासन को वेंटिलेटर चालू करने के लिए ऑपरेटर ही नहीं मिल पा रहे हैं, जिसके चलते प्रतिदिन दो से तीन कोविड-19 मरीज़ों की मौत हो रही है. जब सांसद को मरीजों के तीमारदारों और मीडिया से कोविड-19 अस्पताल में रखे वेंटिलेटर और साफ सफाई के बारे में हकीकत बताई गई तब सांसद ने सीएमओ और एसडीएम को 24 घंटे का अल्टीमेटम देते हुए वेंटिलेटर चालू कराने का आदेश दिया.
वहीं, एक मरीज के तीमारदार ने अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही लगाने का आरोप लगाते हुए कहा कि उसके मरीज का पिछले 24 घंटे से कोई इलाज नहीं हो रहा है. उसका कहना है कि डॉक्टर की कमी के चलते उसके मरीज की देखभाल नहीं हो रही है.
बीते एक महीने से बंद हैं वेंटिलेटर
हकीकत तो यहीं है कि इटावा जिला कोविड-19 अस्पताल में डॉक्टर की बेहद कमी है साथ ही साफ-सफाई को लेकर भी यहां शिकायत आती रहती हैं और वेंटिलेटर तो पिछले एक महीने से धूल फांक ही रहे हैं. वहीं एबीपी गंगा से बात करते हुए सांसद रामशंकर कठेरिया ने कहा कि सरकार बराबर चिंतन मनन कर रही है कि किस तरह से कोरोना मरीज़ों को राहत दिलाई जाए, उन्होंने माना कि कुछ कमियां जरूर रही है उसको सुधारने का प्रयास निरंतर जारी है.
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