UP News: उत्तर प्रदेश के बांदा जेल में बंद बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी को इलाहाबाद हाईकोर्ट से बड़ी राहत मिली है. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने ट्रायल कोर्ट को गैंगस्टर के दो मामलों में कस्टडी वारंट पर पुनर्विचार करने का निर्देश दिया है. इस संबंध में मुख्तार अंसारी द्वारा याचिका दायर की गई थी. जिस पर हुई सुनवाई में अंसारी को कोर्ट से राहत मिली है.
हाईकोर्ट ने 6 सप्ताह में ट्रायल कोर्ट को वारंट पर पुनर्विचार करने के निर्देश दिए
बता दें कि हाईकोर्ट ने 6 सप्ताह में ट्रायल कोर्ट को जारी वारंट पर पुनर्विचार करने का निर्देश दिया है. गौरतलब है कि थाना मोहम्दाबाद गाजीपुर और थाना दक्षिण टोला मउ में दर्ज गैंगस्टर के मामले में वारंट लगातार जारी हो रहा था. वहीं 10 साल सजा काटने के बाद भी वारंट बन रहा था. जिसके बाद 18 अक्टूबर 2021 को मुख्तार अंसारी की ओर से याचिका दाखिल की गई थी. याची ने कहा है कि गिरोहबंद कानून में अधिकतम सजा 10 साल है, वह इससे ज्यादा समय जेल में बंद है. तय सजा जेल में काटने के बाद अब गिरोहबंद कानून में उसकी नजरबंदी अवैध है इसलिए उसे रिहा होने का अधिकार है.
कोर्ट में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हुई सुनवाई
वहीं हाईकोर्ट में हुई सुनवाई के दौरान मुख्तार अंसारी के वकील उपेंद्र उपाध्याय ने वीडियो कांफ्रेंसिंग से की बहस की. इस दौरान जस्टिस सुनीता अग्रवाल और साधना रानी ठाकुर की डिवीजन बेंच सुनवाई हुई थी.
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