Sambhal Violence: लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष और कांग्रेस सांसद राहुल गांधी बुधवार को संभल जा रहे थे. लेकिन उन्हें बीच में हो रोक दिया गया. उनके साथ कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी भी जा रही थीं. लेकिन इन दोनों ही नेताओं को पुलिस द्वारा रोके जाने के बाद बीच से ही वापस हो जाना पड़ा है. इसके बाद नगीना सांसद चंद्रशेखर आजाद की प्रतिक्रिया आई है.
नगीना से सांसद और आजाद समाज पार्टी कांशीराम के राष्ट्रीय अध्यक्ष चन्द्र शेखर आजाद ने कहा, "राहुल गांधी को संभल जाने देना चाहिए था. मैं खुद जाना चाहता था लेकिन सरकार ने रोक दिया क्योंकि वहां पर कानून व्यवस्था की स्थिति ठीक नहीं है. हम लगातार अनुमति के लिए अर्जी दे रहे हैं . अगर हम नहीं जाएंगे तो हमें वहां की जानकारी कैसे मिलेगी."
क्या रख दी मांग
सांसद चंद्रशेखर आजाद ने कहा, 'भाजपा और कांग्रेस जब भी अपने राज्य में सत्ता में होती है तो वे इसी प्रकार दिखाई देते हैं. संविधान सबको अधिकार देता है और उसका पालन होना चाहिए. संभल की हालत अब अच्छी नहीं है. हम लोग चिंता में हैं लगातार सदन में कोशिश कर रहे कि संभल पर चर्चा हो. मैं तो कहता हूं कि यूपी में राष्ट्रपति शासन लगा देना चाहिए.'
सपा सांसद इकरा हसन ने कहा, "उत्तर प्रदेश में भाजपा सरकार जो कर रही है उससे उनकी नीयत पर सवाल उठते हैं कि ऐसा क्या है कि जनप्रतिनिधियों को वहां जाने से रोका जा रहा है. हम सिर्फ यह जानना चाहते हैं कि वहां क्या घटना हुई और इसके पीछे कौन लोग हैं, लेकिन सरकार की मंशा गलत लग रही है, जैसे वे कुछ छिपाने की कोशिश कर रहे हों."
ताजा हालातों पर क्या बोले एसपी
जबकि संभल SP के.के. बिश्नोई ने कहा, "संभल में शांति कायम है. प्रशासन और पुलिस ने घटना वाले दिन से ही शांति बनाए रखने के लिए हर संभव प्रयास किया है. फिलहाल हमारे पास PAC और RAF की 10 कंपनियां हैं, जिनका इस्तेमाल रोजाना गश्त और सभी महत्वपूर्ण जगहों पर शांति बनाए रखने के लिए किया जाता है."
उन्होंने कहा, 'फिलहाल संभल में शांति है. DM द्वारा पारित 163 BNSS के आदेश के आलोक में 10 दिसंबर तक हम सभी जनप्रतिनिधियों से शांति बनाए रखने में सहयोग करने का अनुरोध करते हैं. 10 तारीख के बाद समीक्षा की जाएगी कि संभल में शांति बनी हुई है या नहीं, उसके बाद फैसला लिया जाएगा.'