(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
बुलडोजर एक्शन: सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर सांसद चंद्रशेखर आजाद बोले- 'सरकार को जोरदार तमाचा है'
UP Politics: बीजेपी के विरोधी दलों ने बुलडोजर एक्शन पर बुधवार को सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद जुबानी हमला तेज कर दिया है. इसी बीच नगीना सांसद चंद्रशेखर आजाद ने प्रतिक्रिया दी है.
Bulldozer Action: सुप्रीम कोर्ट ने बुलडोजर एक्शन पर बुधवार को फैसला सुनाया है. कोर्ट ने कहा कि राज्य और उसके अधिकारी मनमाने कदम नहीं उठा सकते. अदालत के इस फैसले के बाद बीजेपी के तमाम विरोधी दलों की प्रतिक्रियाएं आ रही हैं. इसी बीच नगीना सांसद चंद्रशेखर आजाद ने प्रतिक्रिया दी है.
'बुलडोजर कार्रवाई' को लेकर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर आज़ाद समाज पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष चन्द्रशेखर आजाद ने कहा, "ये भाजपा की उत्तर प्रदेश की सरकार को जोरदार तमाचा है कि बिना दोषी सिद्ध हुए या कोर्ट के निर्णय के आप किसी का घर नहीं गिरा सकते हैं. मैं इसके लिए सुप्रीम कोर्ट का धन्यवाद करता हूं."
सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अजय राय ने कहा, "निश्चित तौर पर सर्वोच्च न्यायालय के इस फैसले का हम सब स्वागत करते हैं और इसके लिए हम उनका धन्यवाद भी देते हैं. सुप्रीम कोर्ट ने जैसा कहा कि दोषी साबित होने के बाद भी घर नहीं गिराया जा सकता है क्योंकि उस घर में रहने वाले अन्य परिजन दोषी नहीं हैं. हम दिल की गहराईयों से सर्वोच्च न्यायालय के इस फैसले का स्वागत करते हैं."
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कोर्ट ने दिखाया आइना- कांग्रेस
फैसले पर कांग्रेस नेता सुप्रिया श्रीनेत ने कहा, "सुप्रीम कोर्ट ने सरकार को आइना दिखाने का काम किया है. सर्वोच्च न्यायालय ने पूरी तरह से कानून को प्राथमिकता दी है. सुप्रीम कोर्ट ने यह भी कहा कि दोषी और आरोपी को सजा दी जाए न कि उसके परिवार को. मैं आशा करती हूं कि उत्तर प्रदेश की और तमाम भाजपा की सरकारें इसका अनुसरण करते हुए ये कुकृत्य को बंद करेंगी."
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि कार्यपालिका किसी व्यक्ति को दोषी घोषित नहीं कर सकती और न ही वह न्यायाधीश बनकर किसी आरोपी व्यक्ति की संपत्ति को ध्वस्त करने का फैसला कर सकती है. सर्वोच्च न्यायालय ने राज्य सरकारों द्वारा अपराध के आरोपी व्यक्तियों की संपत्तियों को ध्वस्त करने के लिए "बुलडोजर कार्रवाई" पर फैसला सुनाते हुए कहा कि उसने संविधान के तहत गारंटीकृत अधिकारों पर विचार किया है जो व्यक्तियों को राज्य की मनमानी कार्रवाई से सुरक्षा प्रदान करते हैं.