Uttarakhand News: उत्तराखंड के नैनीताल स्थित पाइंस घाट का पुल मार्ग पूरी तरह से ध्वस्त होने के बाद अब अर्थी ले जाने वालों को अपनी जान पर खेलकर खाई को पार करना पड़ रहा है. अब ये मार्ग उनके लिए खुद ही स्वर्ग का मार्ग जैसा बन गया है. नैनीताल में भवाली रोड के पाइंस क्षेत्र में बने हिंदुओं के शमशान घाट में पुल से लगी दीवार बीती 18 और 19 अक्टूबर की बरसात में भूस्खलन की भेंट चढ़ गई थी. इसके बाद से ही वहां एक पतली सी पखडंडी के रास्ते, घाट में उतरने का रास्ता रह गया था.


लगभग छह माह गुजरने के बाद भी मार्ग को दुरुस्त नहीं किया जा सका. बताया जा रहा है कि कई बार टूटे संकरे रास्ते से अर्थी को ले जाते समय लोग गिरते गिरते बचे. पुल के समीप सड़क के गिरने के बाद नाला पार कर घाट तक पहुंचना मुश्किल हो गया है. नैनीताल के पाइंस शमशान घाट तक मोटर मार्ग बनाने की लंबे समय से मांग चली आ रही है. घाट पहुंचने के लिए अनगिनत सीढ़ियों को पार करके जाने में आम लोगों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है इसलिए वो मोटर मार्ग बनाने की मांग कर रहे हैं. घने जंगल के बीच होने के कारण पैदल मार्ग में जंगली जानवरों का भी खतरा होता है.


अधिशासी अधिकारी ने दी ये जानकारी


नगर पालिका के अधिशासी अधिकारी अशोक कुमार वर्मा ने बताया कि साल 2018-19 में आई आपदा से घाट में काफी डैमेज हो गया था. उस समय पैसा नहीं था. जिलाधिकारी की तरफ से बजट मुहैया कराया गया है. तकरीबन 19 लाख रिपेयरिंग के लिए दे दिया गया है. जल्द ही हमारी टेंडर प्रक्रिया भी हो जाएगी और उसे लोगों की सुविधा के लिए जल्द ही इस टूटे मार्ग को दुरुस्त कर दिया जाएगा.


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