UP Assembly Monsoon Session: उत्तर प्रदेश में सोमवार से विधासभा का मानसून सत्र (UP Monsoon Session) शुरू हो रहा है. इससे पहले समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) ने अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) के नेतृत्व में पैदल मार्च करने का एलान किया है. इसकी जानकारी विधायक मनोज पांडेय (Manoj Pandey) ने रविवार को लखनऊ (Lucknow) स्थित सपा दफ्तर में हुई बैठक के बाद दी. हालांकि सपा के पैदल मार्च पर जब सुभासपा प्रमुख ओम प्रकाश राजभर (Om Prakash Rajbhar) से सवाल किया गया तो वे भड़क गए.
अखिलेश यादव के पैदल मार्च को लेकर ओम प्रकाश राजभर ने कहा, "ये तो नौटंकी है, हम इसको ड्रामा कहते हैं. जब ये सत्ता में थे और खुद मुख्यमंत्री थे. तब इन्हें जातिगत जनगणना की याद नहीं आई. तब इनको घरेलू बिजली बिल माफ करने की याद नहीं आई. इन्हें उस वक्त गरीबों के फ्री इलाज के लिए कानून बनाने की याद इन्हें नहीं आई. जब ये मुख्यमंत्री से तब चार सितंबर 2013 को हाईकोर्ट ने एक आदेश जारी किया था."
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क्या बोले सुभासपा प्रमुख?
ओपी राजभर ने कहा, "हाईकोर्ट ने आदेश में कहा था कि अमीर और गरीब के बच्चे एक साथ पढ़ें. जब दोनों का का पाठक्रम एक ही होता है तब फिर शिक्षा दो तरह की क्यों होती है. लेकिन सपा और अखिलेश यादव की सरकार ने इसे नजरअंदाज कर दिया था. तब 15 अगस्त 2013 में समाजिक न्याय समिति पर भी एक आदेश आया था. जिसमें कहा गया था कि केवल 12 जातियां 27 फीसदी आरक्षण का लाभ उठा रही हैं. तब उन्होंने कोई कदम नहीं लिया था."
सुभासपा प्रमुख ने कहा, "यूपी सरकार के शासन द्वारा एक आदेश जारी किया गया है, जिसमें कहा गया है कि भू-माफियाओं से जमीन खाली कराई जाएगी. ग्रामीण इलाकों में गरीब लोगों के खिलाफ कार्रवाई हो रही है. भू-माफिया हैं वो बच जा रहे हैं. वे इधर-उधर अपना जुगाड़ बना ले रहे हैं. प्रदेश में भू-माफियाओं के जगह गरीब शिकार हो रहे हैं ये एक बड़ा मुद्दा है. इसी मुद्दे पर हमा सवाल पूछेंगे. उन बेचारे गरीबों का क्या कसूर है."
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