इटावा: उत्तरप्रदेश के इटावा और मध्यप्रदेश के भिंड को जोड़ने वाला देश और प्रदेश का सबसे बदहाल राष्ट्रीय राजमार्ग-92 जहां इटावा में बदहाली का यह हाल है कि यहां 8 से 10 किलोमीटर के एरिये में सड़क में गड्ढे नहीं बल्कि गड्डो में सड़क ढूंढनी पड़ती है. यहां आये दिन हादसे होते हैं. दो पहिया वाहन चालक जान हथेली पर लेकर यहां से सफर करते दिखाई देते हैं.


बदहाल एन एच को लेकर एसपी ने प्रदेश सरकार पर निशाना साधते हुए कहा है कि योगी जी का सुशासन देखना है तो इस राजमार्ग को आकार देख लें. वहीं मीडिया के द्वारा मामला उठाये जाने पर इटावा सांसद ने मुख्य विकास अधिकारी को एक हफ्ते में गड्डो को भरने का आदेश दिया गया. साथ ही सीडीओ ने कहां एन एच के अधिकारियों से बात चल रही है जल्द काम शुरू कराया जाएगा.


आऐ दिन होते हादसे


दरअसल, इटावा के बढ़पुरा इलाके से होकर मध्यप्रदेश के भिंड की ओर जाने वाला राष्ट्रीय राजमार्ग-92 इस वक्त प्रदेश का सबसे बदहाल राष्ट्रीय राजमार्ग बना हुआ है. बढ़पुरा के ग्राम कॉमेत से लेकर चंबल पुल तक लगभग 8 से 10 किलोमीटर के एरिया में सड़क का नामोनिशान ढूंढने से नहीं मिल रहा है. पूरे रास्ते बड़े-बड़े गड्ढे जिनसे होकर छोटे व बड़े वाहनों को निकलना पड़ रहा है. जिसके चलते आए दिन हादसे होते हैं.


पिछले कई महीनों से राष्ट्रीय राजमार्ग अपनी बदहाली पर आंसू बहा रहा है लेकिन ना तो राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारियों व इटावा के जनप्रतिनिधि सदर विधायक सरिता भदौरिया को उससे कोई फर्क नहीं पड़ रहा है. यही नहीं इस पूरे एरिया में इटावा बीजेपी की सदर विधायक सरिता भदौरिया का गांव उदी भी पड़ता है जहां से अकसर बीजेपी विधायक का निकलना होता है लेकिन इस राष्ट्रीय राजमार्ग की बदहाली को लेकर अभी तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं की गई.


बरसात के मौसम में बड़े-बड़े गड्ढे होते


जानकार बताते हैं कि मध्यप्रदेश के भिंड से आने वाले ओवरलोड बालू के ट्रक इसी रास्ते से होकर गुजरते हैं. इसी के चलते बरसात के मौसम में इस पूरे रास्ते में बड़े-बड़े गड्ढे हो जाते हैं. जानकार बताते हैं कि एक रात में ओवरलोड बालू के ट्रक 1000 की संख्या से ज्यादा प्रतिदिन निकलते हैं. जिला प्रशासन ओवरलोड ट्रक पर रोक यही वजह है कि यह राष्ट्रीय राजमार्ग पूरी तरह से बड़े-बड़े गड्ढों में तब्दील हो गया है.


सात दिनों के अंदर काम किए जाने के दिए गए आदेश 


वह इस पूरे मामले को लेकर समाजवादी पार्टी जिला प्रशासन पर बराबर हमलावर हो रही है. एसपी के पूर्व जिला अध्यक्ष राजीव यादव ने तो यहां तक कह दिया कि योगी जी का सुशासन देखना हो तो इस रोड पर सफर कर लीजिए. योगी जी का सुशासन नजर आ जाएगा. वहीं, जब इस पूरे मामले को लेकर बीजेपी सांसद रामशंकर कठेरिया से राष्ट्रीय राजमार्ग की बदहाली को लेकर पूछा गया तो उन्होंने मौके पर मौजूद मुख्य विकास अधिकारी को 7 दिन के अंदर काम कराने के आदेश दिए जबकि यह पूरा मामला राष्ट्रीय राजमार्ग के अंतर्गत आता है जब तक राष्ट्रीय राजमार्ग की तरफ से सड़क नहीं बनाई जाती इस पर कोई काम नहीं हो सकता.


बरहाल राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारियों की उदासीनता व इटावा के जनप्रतिनिधियों की लापरवाही के चलते आम आदमी का इस राष्ट्रीय राजमार्ग से निकलना जान जोखिम में डालने के बराबर हो गया है.


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