Allahabad High Court News: सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम के अनुसार इलाहाबाद हाईकोर्ट के सात एडिश्नल जजों को स्थाई न्यायधीश बनाया गया है. राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने सातों एडिश्नल जजों को स्थाई जज बनाए जाने की मंजूरी दे दी है. जानकारी के अनुसार बताया जा रहा है कि इन सातों जजों का शपथ ग्रहण समारोह सोमवार को हो सकता है. वहीं केंद्र सरकार ने भी आधिकारिक तौर पर हाईकोर्ट के सात अतिरिक्त जजों को स्थाई जज के तौर पर नियुक्ती दी है.
मिनिस्ट्री ऑफ़ लॉ एंड जस्टिस के स्पेशल सेक्रेट्री राजिन्दर कश्यप ने इस संबंध में अधिसूचना जारी कर जानकारी दी है. बताया जा रहा है कि हाल ही में 14 सितंबर के दिन सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने इलाहाबाद हाईकोर्ट के सात एडिश्नल जजों को स्थाई न्यायधीश बनाए जाने के लिए सिफारिश की थी. इस पर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने अपनी सहमती व्यक्त की थी.
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने दी मंजूरी
फिलहाल अब सुप्रीम कोर्ट की इस कॉलेजियम को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने भी मंजूरी दे दी है. जिसके चलते जस्टिस उमेश चंद्र शर्मा, रेनू अग्रवाल, राम मनोहर नारायण मिश्रा, मयंक कुमार जैन, शिव शंकर प्रसाद, गजेंद्र कुमार और नलिन कुमार श्रीवास्तव को स्थाई जज के तौर पर नियुक्ती मिल गई है. एक जानकारी के अनुसार जस्टिस उमेश चंद्र शर्मा ने 25 मार्च, 2022 को अतिरिक्त न्यायाधीश के रूप में पदभार संभाला था. वहीं अन्य जजों ने 15 अगस्त 2022 को नियुक्त किया गया था.
मामलों का होगा तेजी से निपटान
सातों एडिश्नल जजों को स्थाई जज बनाए जाने की मंजूरी मिलने के बाद अब इलाहाबाद हाईकोर्ट में लगातार तेजी से बढ़ रहे मुकदमों को निपटाने में काफी मदद मिलने वाली है. वहीं कयास लगाए जा रहे हैं कि सातों जजों के स्थाई होने से हाईकोर्ट की न्याय प्रक्रिया तेजी और सुचारू के साथ ही प्रभावी ढंग से हो सकेगी.
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