Presidential Election 2022: देश के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद (Ramnath Kovind) का कार्यकाल 24 जुलाई को खत्म हो रहा है. वहीं भारतीय निर्वाचन आयोग (Election Commission of India) ने देश में चुनाव की घोषणा कर दी है. देश में 18 जुलाई को राष्ट्रपति का चुनाव होगा और 21 जुलाई को वोटों की गितनी होगी. जिसके बाद देश को नया राष्ट्रपति मिल जाएगा. हालांकि इन सबके बीच राष्ट्रपति चुनाव की प्रक्रिया और उत्तर प्रदेश के विधायकों के साथ ही सांसदों के वोटों के वेटेज को जानना काफी रोचक तथ्य है.
सांसदों और विधायकों के वोट का वेटेज
देश में राष्ट्रपति चुनाव के लिए कुल 10,98,882 वोट हैं. लेकिन अगर एक सांसद के वोट के वेटेज की बात करें तो उसका वेटेज 708 है. इस हिसाब से देखें तो यूपी में सभी 80 सांसदों के वोटों का कुल वेटेज 42,480 हैं. वहीं दूसरी ओर विधायकों के वोट का वेटेज देखें तो एक विधायक की वोट का वेटेज 208 है. जबकि राज्य में कुल 403 विधानसभा सीटें हैं. ऐसे में राज्य के विधायकों के वोट का कुल वेटेज वेटेज 83,824 होता है. जो कि किसी भी अन्य राज्य की तुलना में काफी ज्यादा है.
BJP सांसदों के वोट का वेटेज
यूपी में 80 लोकसभा सांसद हैं, वर्तमान में 2 सीटों पर चुनाव हो रहा है. लेकिन 2019 के चुनाव के आंकड़ों के अनुसार हम वोट के वेटेज को समझते हैं. यहां सबसे ज्यादा बीजेपी के 62 सांसद हैं. जबकि राज्य में एक सांसद के वोट का वेटेज 708 है. जिससे बीजेपी सांसदों के वोट का कुल वेटेज 43,896 है. जबकि बीजेपी गठबंधन की एक अन्य पार्टी अपना दल के दो सांसद हैं, जिनके वोट का कुल वेटेज 1416 हो जाता है. वहीं एनडीए गठबंधन के कुल वोट का वेटेज 45,312 है.
इसके बाद राज्य में सबसे सांसद बसपा के हैं. राज्य में बसपा के दस सांसद हैं, जिनके वोट का वेटेज 7,080 है. यूपी में सांसदों की संख्या के मामले में तीसरे नंबर की पार्टी सपा है. सपा के पांच सांसदों के वोट का वेटेज 3,540 है. वहीं कांग्रेस के एक मात्र सांसद होने के कारण उसके पास 708 वोट का वेटेज है. ऐसे में विपक्ष के कुल सांसदों के वोट का वेटेज 11,328 है.
NDA के विधायकों के वोट का वेटेज
अब एक नजर यूपी विधायकों के वोट के वेटेज पर डालते हैं. राज्य में कुल 403 विधानसभा सीट है यानि कुल 403 विधायक हैं. यूपी के एक विधायक के वोट का वेटेज 208 होता है. राज्य में सबसे ज्यादा 255 विधायक सत्ताधारी बीजेपी के पास हैं, यानि पार्टी के विधायकों के वोट का कुल वेटेज 53,040 हुआ. वहीं एनडीए गठबंधन अपना दल (सोनेलाल) के पास राज्य में 12 विधायक हैं तो उनके वोट का वेटेज 3,060 होता है. इसी गठबंधन के साथी निषाद पार्टी के राज्य में 6 विधायक हैं, जिससे उनके वोट का कुल वेटेज 1,248 है. अगर जोड़े तो एनडीए के कुल विधायकों के वोट का वेटेज 57,348 हो जाता है.
विपक्षियों के वोट का वेटेज
अब बात विपक्षी विधायकों की करें तो मुख्य विपक्षी दल समाजवादी पार्टी के पास 111 विधायक हैं. सपा विधायकों के वोट का कुल वेटेज 23,088 है. इसी गठबंधन के एक और दल रालोद के पास आठ विधायक हैं तो उनके वेटेज 1,664 हो जाता है. जबकि इसी गठबंधन के सुभासपा के पास 6 विधायक हैं, जिनके वोट का वेटेज 1,248 होता है. ऐसे में सपा गठबंधन के वोट का कुल वेटेज 26,000 है. देखा जाए तो सपा गठबंधन के वोट के वेटेज के मुकाबले एनडीए गठबंधन के पास दोगुने से ज्यादा वेटेज है.
वहीं बसपा के पास राज्य में मात्र 1 विधायक है तो उसके वोट का कुल वेटेज 208 हो जाता है. वहीं कांग्रेस को दो विधायकों के वोट का वेटेज 416 और राजा भैया के जनसत्ता दल लोकतांत्रिक पार्टी के विधायकों के भी 2 विधायकों के वोट का वेटेज भी 416 है.
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