लखनऊ: बीते कुछ वक्त से उत्तर प्रदेश में हुई अपराधिक घटनाओं की आड़ में विपक्षी दलों के द्वारा अपराध बढ़ने के आरोप का सरकार ने आंकड़ों के साथ जवाब दिया है. गुरुवार से शुरू हुए मानसून सत्र में विपक्षी दलों के कानून व्यवस्था के मुद्दे पर होने वाले हमले से पहले ही सरकार ने किलेबंदी करते हुए अपराध कम होने के आंकड़े जारी किए हैं.
उत्तर प्रदेश सरकार ने बीते 7 महीने में हुई प्रदेश में अपराधिक घटनाओं का आंकड़ा जारी करते हुए दावा किया है कि यूपी में अपराध कम हुआ है, गुंडे माफियाओं पर सरकार की कार्रवाई लगातार जारी है और साल दर साल यह कार्रवाई बढ़ाई जा रही है.
लखीमपुर, गोरखपुर, नोएडा, गाजियाबाद कानपुर में हुई घटनाओं के बाद राजनीतिक दलों ने उत्तर प्रदेश सरकार पर बेकाबू होते अपराध पर हमले शुरू किए, प्रदेश में कानून व्यवस्था पर सवाल खड़े किए,तो प्रदेश सरकार ने इसका आंकड़ों के साथ जवाब दिया है.
जरा इन आंकड़ों पर नजर डालते है....
लखनऊ
2020 2019 कमी फीसदी
डकैती 38 68 44.12 % कम
लूट 792 1379 42.57% कम
हत्या 2032 2204 7.80% कम
बलात्कार 1216 1692 28.13% कम
अपहरण 15 23 34.7% कम
इसके अलावा गुंडे माफियाओं पर निरोधात्मक कार्रवाई में भी बढ़ोतरी की गई है.
2020 2019
गुंडा एक्ट 17908 21,871
गैंगस्टर एक्ट 2346 2168
रासुका 112 99
मौजूदा मानसून सत्र में प्रदेश की कानून व्यवस्था महिला सुरक्षा जैसे तमाम मुद्दों पर विपक्षी दल सरकार पर सियासी हमले की घेराबंदी करने में लगे हुए थे. लेकिन सत्र शुरू होने के पहले ही दिन सरकार ने इन आंकड़ों को जारी कर विपक्षी दलों के हमले को कुंद कर दिया है. बीते 7 महीने में जहां गुंडे माफियाओं पर की गई कार्रवाई साल 2019 से ज्यादा है तो वहीं दूसरी ओर हत्या लूट डकैती जैसी जघन्य घटनाओं में 40 फ़ीसदी से अधिक कमी आ चुकी है. इन आंकड़ों के सहारे सरकार ने सपा बसपा और कांग्रेस को मुंहतोड़ जवाब दिया है जो बीते कुछ दिनों से सरकार को कानून व्यवस्था के मुद्दे पर घेर रही थी और सियासी तीर चलाए जा रहे थे.
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