UP Politics: सपा-कांग्रेस की कलह के बीच जयंत चौधरी ने राजस्थान में चला नया दांव, जानें- क्या है रणनीति
UP News: सूत्रों के मुताबिक, रालोद प्रमुख जयंत चौधरी ने राजस्थान में अपने सभी नौ विधायकों और पूर्व विधायकों की राजस्थान में ड्यूटी लगा दी है. ये सभी नेता कांग्रेस के समर्थन में प्रचार करेंगे.
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Jayant Chaudhary News: मध्य प्रदेश में 'इंडिया' गठबंधन (I.N.D.I.A) के घटक दलों सपा (SP) और कांग्रेस (Congress) के बीच जिस तरह की जुबानी जंग देखने को मिली, वैसा राजस्थान में न हो, उसे लेकर राष्ट्रीय लोक दल के नेता जयंत चौधरी (Jayant Chaudhary) सतर्क हो गए हैं. जयंत ने अब ऐसा दांव चला है जिसके सहारे वो यूपी को साधने की कोशिश करेंगे. सूत्रों के मुताबिक, रालोद ने राजस्थान में कांग्रेस के पक्ष में अपनी सभी नौ विधायकों को उतार दिया है. वहीं कांग्रेस भी सावधानी बरत रही है और सपा के मुकाबले उन्हें ज्यादा अहमियत दे रही है.
जयंत चौधरी ने राजस्थान में अपने सभी नौ विधायकों और पूर्व विधायकों की राजस्थान में ड्यूटी लगा दी है. ये सभी नेता कांग्रेस के समर्थन में प्रचार करेंगे ताकि पार्टी की मदद हो सके. वहीं गुर्जर वोटों पर भी जयंत की नजर है. गुर्जर वोटों को साधने के लिए रालोद प्रमुख ने यूपी के पूर्व डिप्टी सीएम बाबू नारायण सिंह के पोते और मीरपुर से विधायक चंदन चौहान को खास जिम्मेदारी दी है.
सपा से ज्यादा रालोद को तवज्जो
जयंत चौधरी के इस कदम के पीछे उनकी खास रणनीति है. माना जा रहा है कि राजस्थान में कांग्रेस की मदद करके वो यूपी में ज्यादा से ज्यादा सीटों पर दावेदारी ठोंक सकते हैं. वहीं कांग्रेस भी रालोद के साथ बेहतर तालमेल करके सपा पर दबाव बनाने कोशिश कर सकती है. कांग्रेस रालोद के सहारे पश्चिमी यूपी में अपनी सियासी जमीन को मजबूत करने की संभावनाएं भी देख रही है.
राजस्थान में ताकत दिखाकर यूपी में दावेदारी
रालोद प्रमुख ने जिस तरह से यूपी की खतौली सीट पर आजाद समाज पार्टी के साथ मिलकर जाट, ओबीसी, दलित और अल्पसंख्यक वोटरों को जोड़कर जीत हासिल की थी. उसी तर्ज पर वो राजस्थान में भी चंद्रशेखर आजाद के सहारे जाट, गुर्जर और दलित वोटरों की तिकड़ी बनाकर पार्टी को मजबूत करने की कोशिश कर रहे हैं. उनकी कोशिश है कि वो राजस्थान में अपनी पार्टी को मजबूत दिखाकर यूपी में कांग्रेस के साथ दस लोकसभा सीटों पर दावेदारी करेंगे.
साल 2018 के विधानसभा चुनाव में रालोद को कांग्रेस ने 2 सीटें दी थीं. रालोद ने इसमें से भरतपुर सीट पर जीत हासिल की और उसके नेता सुभाष गर्ग को कांग्रेस ने काबीना मंत्री भी बनाया था. सूत्रों का दावा है कि इस बार रालोद, कांग्रेस से 4-5 सीटें मांग रही है. रालोद चीफ ने बीते दिनों कहा था कि कांग्रेस जिस सीट पर 4-5 बार से नहीं जीती वह सीट हमको दे जीत कर दिखाएंगे.
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