मथुरा, एजेंसी। बेटी का कोचिंग में दाखिला कराने के लिये ट्रेन से दिल्ली से कोटा जा रही महिला को मथुरा में बदमाशों ने लूट-पाट के बाद हजरत निजामुद्दीन-त्रिवेंद्रम सेंट्रल सुपरफास्ट एक्सप्रेस (ट्रेन संख्या-22634) से धक्का दे दिया। इस हादसे में दोनों की मौत हो गई। रेलवे सुरक्षा बल ने मामला दर्ज कर आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है।
रेलवे सुरक्षा बल के अनुसार निजामुद्दीन - त्रिवेंद्रम सेंट्रल सुपर फास्ट एक्सप्रेस के एस-2 कोच में दिल्ली के शाहदरा निवासी दिलीप की पत्नी मीना (55), बेटी मनीषा (21) और बेटा आकाश (23) बर्थ नंबर पर 1, 3 और 4 पर सोए हुए थे। मां-बेटा, मनीषा को कोचिंग के लिए कोटा छोड़ने जा रहे थे।
तड़के करीब पौने चार बजे मीना देवी टायलेट के लिए उठीं। जब वो टायलेट से वापस आईं तो उनकी सीट पर रखे बैग को बदमाश उठा रहे थे। मीना ने बदमाशों से बैग छीनने की कोशिश की। इसी दौरान मनीषा की भी आंख खुल गई और वह भी बैग को बदमाशों से खींचने लगी।
एक बदमाश बैग को लेकर ट्रेन से भागने का प्रयास कर रहा था। इसी खींचातानी में दोनों ट्रेन में गेट के पास पहुंच गईं। बदमाश ने तेजी से झटके के साथ बैग को खींचा और दोनों को गेट से बाहर धक्का दे दिया। वे दोनों ट्रेन से बाहर जा गिरीं और बदमाश उनका कीमती सामान से भरा बैग लेकर कूद गया।
इधर, ट्रेन में हल्ला मचा तो बेटे आकाश की भी आंख खुल गई और उसने लोगों से घटना के बारे में पूछा। जब उसे पता चला कि उसकी मां और बहन को ट्रेन से फेंका गया है तो उसने चेन खींच दी। लेकिन तब तक ट्रेन वृन्दावन रोड स्टेशन पर पहुंच चुकी थी। यह घटना आझई स्टेशन के निकट घटी थी।
रेलवे सुरक्षा बल कोतवाली प्रभारी चंद्रभान प्रसाद ने बताया, ‘रेलवे स्टाफ को घटना की जानकारी मिलते ही तत्काल मौके पर एंबुलेंस भेजी गई, लेकिन तब तक मां-बेटी की मौत हो चुकी थी। इस मामले में मृतका के पुत्र आकाश की तहरीर पर गैर इरादतन हत्या व लूट का मुकदमा दर्ज कर लिया गया है तथा लुटेरों की तलाश की जा रही है।
उसने बताया है कि वह अपनी मां के साथ बहन को इंजीनियरिंग की कोचिंग के लिए कोटा छोड़ने जा रहे थे। बदमाश जिस बैग को लेकर भागे हैं, उसमें कैश, मोबाइल फोन और कोचिंग व हॉस्टल की फीस के चेक थे।