रेलवे में नौकरियों से जुड़ी बड़ी खबर सामने आयी है. एबीपी न्यूज से खास बातचीत में रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि एनटीपीसी और लेवल वन के छात्रों की क़रीब डेढ़ लाख नौकरियां उन्हें कमेटी की रिपोर्ट आने के तीन-चार महीने में मिल जाएंगी. परीक्षा विवाद को लेकर रेल मंत्री जिस जांच कमेटी की रिपोर्ट की बात कर रहे हैं, सूत्रों के मुताबिक उसकी जांच रिपोर्ट 4 मार्च को आ जाएगी. उसके चार महीने बाद यानि जून में नॉन टेक्निकल पॉपुलर कैटेगरीज और लेवल वन के सफल परीक्षार्थियों की बहाली शुरू हो जाएगी.
रेलमंत्री ने कहा, ''रेलवे ने उच्च पदों पर तीन साल से कोई भर्ती नहीं की है. कैडर मर्जर किया और यूपीएस, से भी मना कर दिया कि हमें अफ़सर नहीं चाहिए. तो अब अधिकारियों की कमी तो है”, उन्होंने ये स्वीकार किया.
कमेटी का हुआ है गठन -
आपको बता दें कि 24 जनवरी को पटना से शुरू हुए हिंसक विरोध-प्रदर्शन के बाद रेलवे ने एनटीपीसी और लेवल-1 परीक्षा को स्थगित कर हाई पावर कमेटी के गठन का एलान किया था. ये कमेटी नॉन-टेक्निकल पॉपुलर कैटेगरी के पहले स्तर की परीक्षा यानी कंप्यूटर बेस्ड टेस्ट सीबीटी 1 के 14-15 जनवरी को घोषित नतीजों की जांच करेगी और उम्मीदवारों की शिकायतों और सुझाव सुने जाएंगे. जिन परीक्षार्थियों को कोई शिकायत है तो वो इस समिति को 16 फरवरी तक अपनी शिकायतें भेज सकते हैं.
साल 2019 में हुई थी भर्तियों की घोषणा -
दरअसल रेलवे ने साल 2019 में लोकसभा चुनाव के वक़्त एनटीपीसी के जरिए 35,308 पदों के लिए और ग्रुप डी के लगभग एक लाख तीन हजार पोस्ट्स के लिए आवेदन मांगा था. रेलवे के मुताबिक इन पदों के लिए क़रीब सवा करोड़ छात्रों ने आवेदन किया था. इसमें से एनटीपीसी परीक्षा के नतीजों का एलान पिछले महीने हो चुका है लेकिन छात्र इसमें गड़बड़ी का आरोप लगा रहे हैं. वहीं 23 फ़रवरी 2022 को दो चरणों में होने वाली ग्रुप डी की परीक्षा की तारिख भी आगे बढ़ा दी गई है क्योंकि छात्र सिर्फ एक चरण में एग्जाम कराने की मांग पर अड़े हैं.
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