मॉस्को, भाषा। अनुच्छेद 370 पर भारत के फैसले का कई देशों ने समर्थन किया है। रुस ने भी जम्मू-कश्मीर पर भारत द्वारा उठाए गए कदम का समर्थन किया है। रुस ने शुक्रवार को कहा कि यह भारतीय संविधान के दायरे में है और उसने उम्मीद जताई कि भारत और पाकिस्तान आपसी मतभेदों को शिमला समझौते एवं लाहौर घोषणा के आधार पर द्विपक्षीय स्तर पर सुलाएंगे। रूसी विदेश मंत्रालय ने शुक्रवार को एक सवाल के जवाब में कहा, ‘‘मॉस्को उम्मीद करता है कि दिल्ली द्वारा जम्मू-कश्मीर की स्थिति में बदलाव करने के मद्देनजर भारत और पाकिस्तान क्षेत्र में स्थिति बिगड़ने नहीं देंगे।’’


मंत्रालय ने कहा, ‘‘ हम इस तथ्य को ध्यान में रख कर आगे बढ़ रहे हैं कि जम्मू-कश्मीर की स्थिति में बदलाव और उसे बांटकर दो केंद्र शासित प्रदेश बनाने का फैसला भारतीय गणराज्य के संविधान के दायरे में है। हम उम्मीद करते हैं कि इस फैसले के बाद संबंधित पक्ष क्षेत्र में तनाव बढ़ने नहीं देंगे।’’


मंत्रालय ने आगे कहा कि हम उम्मीद करते हैं कि दोनों देश मतभेदों को राजनीतिक और राजनयिक तरीकों से शिमला समझौता-1972 एवं लाहौर घोषणा पत्र-1999 के प्रावधानों के तहत द्विपक्षीय आधार पर सुलझाएंगे।


बतादें कि भारत ने सोमवार को जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा समाप्त करने के लिए अनुच्छेद- 370 के अधिकतर प्रावधानों को हटा दिया था और राज्य को दो केंद्रशासित प्रदेशों जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में बांट दिया था।


यह भी पढ़ें: सदस्यता अभियान में बीजेपी को मिल रहा है अपार समर्थन, धारा 370 हटाने से देश खुश: सतीश महाना