अयोध्या, एबीपी गंगा। करीब सात महीने बाद एक बार फिर से शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे अयोध्या में हैं। जहां पार्टी के 18 सांसदों के साथ उन्होंने राम लला के दर्शन किए। इस दौरान उद्धव के साथ उनके बेट आदित्य ठाकरे भी मौजूद रहे। शिवसेना प्रमुख के अयोध्या दौरा के चलते एक बार फिर से राम मंदिर निर्माण का मुद्दा गरमा गया है।





उद्धव ठाकरे प्रेस कॉन्फ्रेंस की बड़ी बातें






    • राम लला के दर्शन के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में उद्धव ठाकरे ने कहा कि कल से लोकसभा का सत्र शुरू होने वाला है। संसद में जाने से पहले सांसदों ने राम लला के दर्शन किए। वहीं, राम मंदिर मुद्दे पर उन्होंने कहा कि मंदिर मामले में हम मंदिर के मुद्दे पर हम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ हैं। वे बोले कि केंद्र में मजबूत सरकार है, राम मंदिर निर्माण पर जल्द फैसला लें। इसके साथ ही उन्होंने ये भी कहा कि मोदी सरकार में फैसला लेने की ताकत है।

    • अयोध्या आने के सवाल पर उन्होंने कहा कि वे आगे भी अयोध्या आते रहेंगे।

    • इसके साथ ही उन्होंने उम्मीद जताते हुए कहा कि अयोध्या में जल्द राम मंदिर बनेगा। उन्होंने कहा कि हिंदुओं की एकता बनी रहे। अयोध्या में जल्द राम मंदिर निर्माण की उम्मीद पूरी। जरूरत पड़ी तो फिर आंदोलन करेंगे। राम मंदिर निर्माण को कोई रोक नहीं सकता है।






बता दें कि उद्धव ठाकरे का ये दूसरा अयोध्या दौरा है। इससे पूर्व वे लोकसभा चुनाव से पहले अयोध्या आए थे और भगवान श्री राम के दर्शन कर उनका आशीर्वाद लिया था। अब चुनाव में मिली जीत के बाद उद्धव ठाकरे एक बार फिर भगवान श्रीराम का आशीर्वाद लेने अयोध्या पहुंचे हैं। माना जा रहा है अयोध्या के सहारे उदय ठाकरे महाराष्ट्र विधानसभा में शिवसेना की जमीन मजबूत करने की कोशिश करने में लगे हैं।



मोदी-योगी के नेतृत्व में बनेगा राम मंदिर: संजय राउत


शिवसेना प्रमुख के अयोध्या दौरे से पहले पार्टी प्रवक्ता व सांसद संजय राउत ने ये दावा किया कि मोदी और योगी के नेतृत्व में ही अयोध्या में भव्य राम मंदिर का निर्माण होगा। उन्होंने कहा कि राम मंदिर के मामले पर बीजेपी रूपरेखा तय करेगी। शिवसेना केवल घटक दल है। हमारे लिए नरेंद्र मोदी व अमित शाह ही सुप्रीम कोर्ट हैं। राम मंदिर के लिए सरकार को याद दिलाने की जरूरत नहीं। साथ ही उन्होंने यह भी दावा किया कि 2020 में राज्यसभा में बहुमत मिल जाएगा। उन्होंने कहा कि 2019 का बहुमत राम मंदिर के लिए मिला है।


बता दें कि लोकसभा चुनाव से पहले जब पहली बार उद्धव ठाकरे अयोध्या पहुंचे थे, तब उन्होंने कहा था कि राम हमारे लिए राजनीति का विषय नहीं हैं। वे बोले थे कि शिवसेना ने राम के नाम पर कभी वोट नहीं मांगेंगी। अब एक बार फिर चुनाव खत्म होने के बाद शिवसेना प्रमुख राम लला पहुंच रहे हैं। हालांकि, केंद्र में दोबारा मोदी सरकार आने के बाद राम मंदिर निर्माण का मुद्दा एक बार फिर गरमा गया है।


साधु-संत लगातार मोदी और योगी सरकार पर मंदिर निर्माण को लेकर दबाव बना रहे हैं। 15 जून को अयोध्या में संत सम्मेलन के दौरान भी यही बात दोहराई गई। याद हो तो चुनाव से पहले साधु-संत मोदी सरकार से राम मंदिर बनाने के लिए अध्यादेश तक लाने की मांग कर चुके हैं।हालांकि, मामला सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन हैं और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी खुद कह चुके हैं कि कोर्ट का फैसला आने के बाद ही सरकार इस मसले पर कोई कदम उठाएगी।