IAS Viral Video: वरिष्ठ आईएएस अधिकारी मोहम्मद इफ्तिखारुद्दीन (IAS Iftikharuddin) का जो वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ उसके बाद बखेड़ा खड़ा हो गया है. उत्तर प्रदेश सरकार ने एसआईटी (SIT) जांच शुरू करा दी है. इस बीच ऐसे लोग सामने निकल कर आ रहे हैं जो सीधे तौर पर मोहम्मद इफ्तिखारुद्दीन पर धर्मांतरण (Conversion) की पाठशाला चलाने के आरोप लगा रहे हैं. इन्हीं में से एक है सीटीएस बस्ती में रहने वाले निर्मल कुमार त्यागी.


CTS बस्ती के अध्यक्ष निर्मल कुमार त्यागी वो व्यक्ति हैं जो साल 2016 में मोहम्मद इफ्तिखारुद्दीन के पास अपनी शिकायत लेकर पहुंचे थे. इनके साथ बस्ती के दो तीन और लोग भी थे. कानपुर में मेट्रो का प्रोजेक्ट आने पर इनकी बस्ती का 157 एकड़ इलाका लिया जा रहा था. ऐसे में जब मंडलायुक्त के पास अपनी शिकायत को लेकर पहुंचे तो शिकायत को अनसुना करते हुए कमिश्नर मोहम्मद इफ्तिखारउद्दीन ने इन्हें धर्म परिवर्तन का प्रलोभन दे डाला. सीधे तौर पर यह कहा गया कि अगर वह अपना धर्म छोड़कर इस्लाम कुबूल कर लेंगे तो इनकी बस्ती पर मंडरा रहा संकट टल जाएगा और इनके घर और खेत नहीं छीने जाएंगे.


सभी को 4 पुस्तकें दी थीं जो इस्लाम की शिक्षा देने वाली थी


यही नहीं मोइनुद्दीन नाम का व्यक्ति चौबेपुर का रहने वाला कई साल तक इस बस्ती में निर्मल त्यागी के पास आकर उन्हें बस्ती के बच्चों को मदरसों में भेजने की बातें करता रहा. यह भी बताया गया कि विदेशी फंडिंग के द्वारा बच्चों के भविष्य को उज्जवल बनाने का काम किया जाएगा. लेकिन बस्ती के लोग अपने धर्म को छोड़ने को तैयार नहीं हुए. 


बस्ती के पूर्व अध्यक्ष निर्मल त्यागी की मानें तो जब उन्होंने मंडलायुक्त रहे इस इफ्तिखारुद्दीन की पेशकश को ठुकरा दिया था तो इन सभी को उनके ऑफिस से दुत्कार कर भगा दिया गया. साथ ही उनके साथ काम करने वाले एक कर्मचारी ने इन सभी को 4 पुस्तकें दी थीं जो इस्लाम की शिक्षा देने वाली थी.


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