UP Politics: स्वामी प्रसाद मौर्य के बयान पर भड़के एसपी बघेल, महंत राजूदास ने की कार्रवाई की मांग
Swami Prasad Maurya: सपा नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ने कारसेवकों पर गोली चलवाने की घटना को सही बताया है, जिसपर सियासत तेज़ हो गई है.
Swami Prasad Maurya Statement: समाजवादी पार्टी के नेता स्वामी प्रसाद मौर्य एक बार फिर से कारसेवकों को लेकर दिए विवादित बयान को लेकर सुर्खियों में आ गए हैं, जिसके बाद सियासत गरमा गई है. सपा नेता ने कारसेवकों पर गोलियां चलवाने को सही करार दिया है. उनके इस बयान पर कड़ी प्रतिक्रिया देखने को मिल रही है, जहां बीजेपी नेता एसपी बघेल ने उसे काला दिन बताया तो वहीं हनुमान गढ़ी के महंत राजूदास ने सीएम योगी से उनके खिलाफ कार्रवाई की मांग की है.
दरअसल सपा नेता स्वामी प्रसाद मौर्य मंगलवार को कासगंज पहुंचे थे जहां उन्होंने कारसेवकों पर गोली चलवाने की घटना का समर्थन करते हुए कहा कि "जिस समय अयोध्या में राम मंदिर की घटना घटी थी वहां बिना न्यायपालिका के निर्देश के बड़े पैमाने पर अराजक तत्वों ने तोड़फोड़ की थी. तत्कालीन सरकार ने संविधान की रक्षा के लिये, अमन चैन के लिए जो गोली चलवायीं थी वो सरकार का कर्तव्य था. उस समय केंद्रीय मंत्री एसपी सिंह बघेल भी सपा में ही थे.
स्वामी प्रसाद मौर्य के बयान पर पलटवार
स्वामी प्रसाद मौर्य के इस बयान पर केंद्रीय मंत्री एसपी बघेल ने पलटवार किया हैं. उन्होंने कहा कि, "कारसेवकों पर गोली चलाना नहीं था, मैं उनकी बातों से सहमत नहीं हूं. भारत के लोकतंत्र में वो काला दिवस था. उस समय इसलिए गोली चलाई गई थी कि हर गोली से एक कारसेवक मरे. इस घटना से बचा जा सकता था लेकिन, जानबूझकर कारसेवकों मारा गया."
सीएम योगी से कार्रवाई की मांग
अयोध्या में हनुमानगढ़ी के महंत राजूदास ने भी इस पर तीखी प्रतिक्रिया दी और स्वामी प्रसाद मौर्य को बौद्धिक आतंकवादी तक करार दिया. उन्होंने कहा कि "ये बयान बेहद दुखद हैं. ये शुद्ध रूप से बौद्धिक आतंकवाद को बढ़ावा देता है और ये बौद्धिक आतंकवाद जिस प्रकार सनातनियों को आहत करता है उसकी कोई तुलना नहीं. सनातनियों में रोष है रामभक्तों का इस तरह से अपशब्द का प्रयोग करना, रामजन्मभूमि से दो-तीन किमी की दूरी पर गोलियाँ चलाना और इस तरह कुकृत्य को तर्क देकर इस तरह जस्टिफ़ाई करना कि सपा सरकार ने जो किया था वो सही किया था."
महंत राजूदास ने कहा कि "हम इसका पुरजोर तरीके से विरोध करते हैं और निंदा करते हैं. मैं सीएम योगी आदित्यनाथ से मांग करता हूँ कि इस तरह के बौद्धिक आतंकवादी के साथ वहीं व्यवहार करना चाहिए जो आतंकवादी के साथ होता है." (ऋषि गुप्ता और नीरज पांडेय के इनपुट के साथ)