UP Nikay Chunav 2023: यूपी निकाय चुनाव में अखिलेश यादव को 'संजीवनी' दे रहे चाचा शिवपाल यादव, सपा को मिलेगी ताकत
Shivpal Singh Yadav Sanjivani: सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव की निकाय चुनाव में कम सक्रियता पर आशुतोष वर्मा ने कहा कर्नाटक में भी हमारा संगठन है. वहां से भी लोगों की गुजारिश है कि अखिलेश उनका प्रचार करें.
UP Nagar Nikay Chunav 2023: यूपी निकाय चुनाव के दूसरे चरण को लेकर सपा प्रवक्ता व चुनाव संचालन समिति के सदस्य डॉ. आशुतोष वर्मा ने कहा सारे चुनाव परीक्षाओं की तरीके से होते हैं. दूसरे चरण के चुनाव में और कठिन परीक्षा है. हमारे प्रदेश, अध्यक्ष, राष्ट्रीय महासचिव, राष्ट्रीय प्रमुख महासचिव राष्ट्रीय अध्यक्ष सभी लोग जमीनी स्तर पर काम कर रहे. हाल ही में शिवपाल यादव ने पार्टी के रूठे नेता को मना कर वापस सपा में लाने का काम किया. हम माइक्रो लेवल पर मीटिंग कर रहे हैं जिसका अच्छा परिणाम हमें मिलेगा.
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव की निकाय चुनाव में कम सक्रियता पर आशुतोष वर्मा ने कहा कि कर्नाटक में भी हमारा संगठन है. वहां से कई लोगों की गुजारिश है कि अखिलेश यादव उनका प्रचार करें. यहां हमारे पास सपा नेताओं की सेकंड लाइन बहुत बड़ी है वह अपना काम कर रहे हैं. अखिलेश यादव वापस आएंगे और दूसरे चरण के लिए प्रचार करते दिखेंगे.
केरल स्टोरी फ़िल्म को लेकर आशुतोष वर्मा ने कहा कि फिल्मकारों का काम है सच का आइना दिखाना. लेकिन राजनीति पूर्वक अगर कोई पिक्चर बनाई जाती तो उस पर सवाल होना चाहिए. भारत की जनता खुद समझदार है, वह तय करेगी कि क्या सही है या गलत. प्रधानमंत्री को इतने ऊंचे स्तर पर जाकर चुनाव में इस तरह की पिक्चरों का नाम नहीं लेना चाहिए, ये उस पद की गरिमा के खिलाफ है.
पीएफआई हो या बजरंग दल बैन होना चाहिए
बजरंग दल पर छिड़ी सियासत को लेकर आशुतोष वर्मा ने कहा कि ये लोग इतना घबरा क्यों रहे अगर कुछ गलत नहीं किया. सरदार वल्लभभाई पटेल ने आरएसएस को बैन किया था, तो बजरंग दल बैन क्यों नहीं हो सकता. किसी से छुपा नहीं है कि वह किस तरीके से हैं. हर पार्टी की अपनी विचारधारा है, लेकिन जो असामाजिक तत्व है चाहे वह पीएफआई हो या बजरंग दल अगर है तो उन पर बैन होना चाहिए. बजरंग दल भी असामाजिक तत्व है, कई बार उसके लोगों पर चार्जशीट फाइल हुई, एफआईआर हुई. अगर सब कुछ इतना अच्छा ही होता तो उन पर चार्जशीट और ऐसा क्यों हुआ होता. समाज को तोड़ने के लिए कोई भी संस्था हो उस पर सरकार को कड़े कदम उठाने चाहिए चाहे राज्य सरकार हो या केंद्र सरकार.