लखनऊ, एबीपी गंगा। उत्तर प्रदेश में प्राइमरी टीचर की नियुक्ति में अनियमितता का मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंच चुका है। मंगलवार को देश की सबसे बड़ी अदालत ने मामले की सीबीआई जांच कराने वाली अर्जी पर यूपी सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। कोर्ट में यह याचिका मामले की सीबीआई जांच पर रोक लगाने के आदेश के खिलाफ लगाई गई है। पिछले साल इलाहाबाद हाईकोर्ट की सिंगल बेंच ने सीबीआई जांच का आदेश दिया था।


गौरतलब है कि यूपी में 68,500 पदों पर नियुक्तियां हुई थीं। फरवरी में उत्तर प्रदेश सरकार की अपील पर उच्च न्यायालय की डिविजन बेंच ने सीबीआई जांच पर रोक लगाई थी। परीक्षा में असफल रहे अभ्यर्थियों ने अदालत में याचिका दायर करके सीबीआई जांच को बरकरार रखने की मांग की है।


परीक्षा में मिली धांधलियों की जांच के लिए राज्य सरकार ने तीन सदस्यीय समिति बनाई थी। लेकिन इसमें दो सदस्य परीक्षा प्रक्रिया तय करने वाले बेसिक शिक्षा विभाग से होने के तर्क पर इलाहबाद उच्च न्यायालय की एकल जज ने एक नवंबर 2018 को मामले की जांच सीबीआई को सौंपने के आदेश दिए थे। इसे खारिज करते हुए उच्च न्यायालय ने कहा था कि केवल इस आधार पर कि जांच कर रहे अधिकारी दागी पाए जा रहे विभाग से हैं। मामले की जांच सीबीआई को नहीं दी जानी चाहिए।