UP News: बीजेपी सांसद वरुण गांधी ने एक बार फिर अपनी ही सरकार को कटघरे में किया है. इस बार उन्होंने अमेठी के संजय गांधी मेमोरियल अस्पताल की आड़ ली. संजय गांधी अस्पताल का लाइसेंस रद्द होने पर वरुण गांधी योगी सरकार के फैसले पर सवाल उठाए. उन्होंने कार्रवाई को मनमाना बताते हुए सरकार से फैसले पर दोबारा विचार करने की अपील की. बता दें कि कथित मेडिकल लापरवाही से 22 वर्षीय महिला की मौत के बाद अस्पताल का लाइसेंस निलंबित कर दिया गया था.


वरुण गांधी ने एक बार फिर दिखाए तेवर


पीलीभीत से बीजेपी सांसद वरुण गांधी ने कार्रवाई पर नाराजगी जताते हुए डिप्टी सीएम और स्वास्थ्य मंत्री ब्रजेश पाठक को पत्र लिखा. उन्होंने लिखा, "गहन और निष्पक्ष जांच की इजाजत का आदेश दिए बिना अमेठी में संजय गांधी अस्पताल के लाइसेंस का फौरन निलंबन अनुचित कार्रवाई है." पेट दर्द की शिकायत के बाद मरीज संजय गांधी अस्पताल में 14 सितंबर को भर्ती हुआ था. 16 सितंबर को लखनऊ के निजी अस्पताल में महिला ने आखिरी सांस ली. मरीज की मौत के बाद परिजनों ने संजय गांधी अस्पताल पर कथित लापरवाही का आरोप लगाया. उन्होंने बताया कि बेटी की मौत संजय गांधी अस्पताल में एनेस्थीसिया की मात्रा ज्यादा देने से हुई.



अपनी ही सरकार को कटघरे में किया 


17 सितंबर को संजय गांधी अस्पताल के सीईओ और तीन डॉक्टरों पर लापरवाही का मुकदमा दर्ज हुआ. बीजेपी सांसद वरुण गांधी ने खत में लिखा कि अमेठी और आसपास जिले के लोग रोजाना संजय गांधी अस्पताल इलाज और जांच कराने आते हैं. अस्पताल के लाइसेंस को निलंबित करने का नतीजा स्वास्थ्य सुविधाओं, रोजगार और शिक्षा पर बुरा डाल सकता है. पीलीभीत सांसद वरुण गांधी बेबाक टिप्पणी के लिए जाने जाते हैं. वरुण गांधी का बयान अक्सर बीजेपी को असहज कर देता है. इस बार उन्होंने अस्पताल के निलंबन की आड़ में अपनी ही सरकार पर निशाना साधा. अस्पताल का संचालन संंजय गांधी मेमोरियल ट्रस्ट की तरफ से किया जाता है. 


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