तपस्वी छावनी के महंत परमहंस दास अनशन पर बैठे, इस मांग को लेकर अन्न-जल छोड़ा
अयोध्या में मांस मदिरा की दुकानों को 84 कोस की भीतर से हटाने की मांग पर परमहंस दास अनशन पर बैठ गये. प्रशासन की मनाही के बाद महंत अपने आश्रम पर ही बैठ गये.
अयोध्या: अयोध्या तपस्वी छावनी के संत स्वामी परमहंस दास एक बार फिर आमरण अनशन पर बैठ गए हैं. अयोध्या समेत देश के अन्य तीर्थों के 84 कोसी की परिधि में मांस मदिरा प्रबंधित करने की मांग को लेकर स्वामी परमहंस दास अयोध्या की सीमा मुहावरा बाजार में आमरण अनशन करने जा रहे थे, लेकिन अयोध्या पुलिस ने उन्हें तपस्वी छावनी स्थित आवास पर ही नजरबंद कर दिया और बाहर पुलिस का पहरा बैठा दिया.
आमरण अनशन पर बैठ गये
स्वामी परमहंस दास अपने आश्रम में ही अन्न जल त्याग कर आमरण अनशन पर बैठ गए हैं. स्वामी परमहंस ने कहा कि उन्होंने राष्ट्रपति को भी पत्र लिखा था और राष्ट्रपति ने जिला प्रशासन को इस बारे में अवगत भी कराया था लेकिन जिला प्रशासन ने इस मामले पर कुछ भी नहीं किया. उन्हें उम्मीद थी कि मकर संक्रांति तक अयोध्या की 84 कोसी के अंदर मांस मदिरा प्रतिबंधित कर दी जाएगी लेकिन ऐसा नहीं हुआ तो अब अन्न जल त्याग कर आमरण अनशन पर बैठ गए हैं. उनकी और भी मांग है कि गोवंश की रक्षा के लिए गौ मंत्रालय बनाए जाए. अयोध्या, हरिद्वार, काशी, मथुरा प्रयागराज जैसे तीर्थों के 84 कोसी परिक्रमा मांस मदिरा को प्रबंधित करना चाहिए.
अवैध अतिक्रमण हटाने की भी मांग
इसके अलावा उन्होंने कहा कि अयोध्या में जो कुंड है जिन पर भू माफियाओं का कब्जा है या फिर अवैध अतिक्रमण है. उसको भी हटाया जाए जब तक उनकी मांगे पूरी नहीं होती वह आमरण अनशन पर बैठे रहेंगे. इससे पहले भी स्वामी परमहंस दास कई बार आमरण अनशन पर बैठ चुके हैं. एक बार तो पुलिस ने उनको उठाकर जेल भेज दिया था लगभग 20 दिनों तक वे जेल में थे.
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