Uttarakhand News: उत्तराखंड की फूलों की घाटी को मिली अंतरराष्ट्रीय पहचान, UNESCO ने किया विश्व धरोहर घोषित
Uttarakhand News: उत्तराखंड की फूलों की घाटी राष्ट्रीय उद्यान को यूनेस्को की तरफ से विश्व प्राकृतिक धरोहर घोषित किया गया है. जिसके बाद सीएम पुष्कर सिंह धामी ने फॉरेस्ट डिपार्टमेंट को बधाई दी है.
Uttarakhand News: उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी (Pushkar Singh Dhami) ने स्लोवेनिया की राजधानी लुब्लियाना में उत्तराखण्ड और स्लोवेनिया के मध्य संरक्षित क्षेत्रों के प्रबंधन, संसाधन प्रबंधन और पर्यावरण शिक्षा के क्षेत्र में आपसी सहयोग को बढ़ावा देने को लेकर सहमति पत्र पर हस्ताक्षर किया. सीएम पुष्कर सिंह धामी ने उत्तराखण्ड के फूलों की घाटी राष्ट्रीय उद्यान और स्लोवेनिया के त्रिग्लाव राष्ट्रीय उद्यान के मध्य सहमति होना राज्य की जैव विविधता को विश्व स्तर पर पहचान दिलाने वाला प्रयास बताया है.
उत्तराखंड के इन दोनों राष्ट्रीय पार्कों को यूनेस्को की तरफ से विश्व प्राकृतिक धरोहर घोषित किया गया है. इससे निश्चित रूप से वन और संरक्षित क्षेत्र प्रबंधन में उत्तराखंड के योगदान को वैश्विक स्तर पर नई पहचान मिलेगी. उत्तराखंड के फूलों की घाटी राष्ट्रीय उद्यान और स्लोवेनिया के त्रिग्लाव राष्ट्रीय उद्यान को विश्व धरोहर का दर्जा मिलने से दोनों देशों में खुशी की लहर है. इस सम्मान को लेने उत्तराखंड के वन्यजीव प्रतिपालक समीर सिन्हा स्लोवेनिया की राजधानी लुब्लियाना पहुंचे और वहां उत्तराखंड को मिले इस सम्मान को लिया.
विश्व स्तर पर मिलेगा उत्तराखंड को अवसर
उत्तराखंड में काफी पर्यटक फूलो की घाटी देखने आते हैं. पर्यटक फूलों की घाटी के सौंदर्य के प्रति आकर्षित होते हैं. अब इस सम्मान के बाद और भी पर्यटक यहां आने के लिए आकर्षित होंगे. वहीं इस मौके पर स्लोवेनिया में भारत की राजदूत नम्रता कुमार की उपस्थिति में उत्तराखंड के प्रमुख वन संरक्षक (वन्यजीव) और मुख्य वन्य जीव प्रतिपालक डॉ. समीर सिन्हा तथा ट्रिग्लाव राष्ट्रीय उद्यान के निदेशक डॉ टिट पोतोनिक की तरफ से हस्ताक्षर किए गए. इस सहमति पत्र के अनुसार दोनों राष्ट्रीय उद्यानों को एक दूसरे के सिस्टर पार्क का दर्जा दिया जाएगा. इस सहमति पत्र में दोनों राष्ट्रीय पार्कों के मध्य सहयोग से एक दूसरे के बीच प्रबंधन के अनुभव साझा करने, प्रचार प्रसार करने तथा वैश्विक स्तर पर वन प्रबंधन में स्लोवेनिया और उत्तराखंड के बेस्ट प्रैक्टिसेज को प्रस्तुत करने का अवसर मिलेगा.
उत्तराखंड की फूलों की घाटी राष्ट्रीय उद्यान एवं स्लोवेनिया के त्रिग्लाव राष्ट्रीय उद्यान दोनों को यूनेस्को की तरफ से विश्व प्राकृतिक धरोहर घोषित किया गया है. फूलों की घाटी राष्ट्रीय उद्यान की स्थापना 1982 में हुई थी. तथा इसका क्षेत्रफल 87.5 वर्ग किमी है. ट्रिग्लाव राष्ट्रीय उद्यान स्लोवेनिया का एकमात्र राष्ट्रीय उद्यान है, जिसकी स्थापना 1981 में हुई थी. इसका क्षेत्रफल 880 वर्ग किमी है. ट्रिग्लाव शिखर स्लोवेनिया की सबसे ऊंची चोटी है, जिसकी ऊंचाई 2863.65 मीटर है. फूलों की घाटी राष्ट्रीय उद्यान जैसे उत्तराखंड हिमालय क्षेत्र में स्थित है, उसी भांति यह राष्ट्रीय उद्यान भी जूलियन ऐल्प्स पर्वतों के मध्य स्थापित है. यहां की परिस्थितियां, अवसर और चुनौतियां कई मायनों में फूलों की घाटी राष्ट्रीय उद्यान के समान ही हैं.
सीएम पुष्कर सिंह धामी ने दी बधाई
ये विशेष रूप से उल्लेखनीय है कि इस प्रकार का यह पहला अवसर है जब उत्तराखंड ही नहीं भारत के किसी संरक्षित क्षेत्र ने विदेश के किसी संरक्षित क्षेत्र के साथ सहयोग हेतु इस प्रकार की कोई सहमति की है. इस सहमति पत्र पर हस्ताक्षर के बाद फूलों की घाटी को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता मिलेगी. इससे वन और संरक्षित क्षेत्र प्रबंधन में आधुनिकतम तकनीक के बारे में जानकारी साझा करने का अवसर मिलेगा, जिससे मानव-वन्यजीव संघर्ष, वनाग्नि, जलवायु परिवर्तन जैसी चुनौतियों का सामना करने में मदद मिलेगी और उच्च हिमालयी क्षेत्रों में फूलों की घाटी जैसे यूनेस्को विश्व धरोहर घोषित क्षेत्रों के विषय में यूरोप में भी प्रचार प्रसार होगा. अधिक संख्या में विदेशी पर्यटक यहां आने को लेकर प्रेरित होंगे. इसको लेकर उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने उत्तराखंड फॉरेस्ट डिपार्टमेंट को बधाई दी है. तो वहीं वन मंत्री सुबोध उनियाल ने से उत्तराखंड फॉरेस्ट डिपार्टमेंट के लिए बड़ी उपलब्धि बताया है.
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