Budget 2025: बजट से उत्तराखंड को बड़ी उम्मीद, इन प्रोजेक्ट्स पर हो सकती है धनवर्षा
Union Budget 2025: उत्तराखंड के वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने बताया कि 20 दिसंबर 2024 को केंद्रीय वित्त मंत्री की अध्यक्षता में जैसलमेर में हुई प्री-बजट कंसल्टेशन बैठक में राज्य सरकार ने 11 सूत्रीय ज्ञापन सौंपा था.

Union Budget 2025: देशभर की निगाहें 1 फरवरी को पेश होने वाले केंद्रीय बजट 2025-26 पर टिकी हैं. उत्तराखंड सरकार भी इस बजट से विशेष उम्मीदें लगाए बैठी है. राज्य सरकार को भरोसा है कि इस बार केंद्र सरकार उत्तराखंड के विकास के लिए कई महत्वपूर्ण घोषणाएं कर सकती है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा पेश किए जाने वाले इस बजट से राज्य को बड़े इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स, पर्यटन, परिवहन और जल संरक्षण से जुड़े कार्यक्रमों के लिए अधिक धन मिलने की संभावना जताई जा रही है.
उत्तराखंड के वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने बताया कि 20 दिसंबर 2024 को केंद्रीय वित्त मंत्री की अध्यक्षता में जैसलमेर में हुई प्री-बजट कंसल्टेशन बैठक में राज्य सरकार ने 11 सूत्रीय ज्ञापन सौंपा था. इसमें चारधाम यात्रा, कांवड़ यात्रा, पर्यटक सुविधाओं के विस्तार, सड़क निर्माण और जल संरक्षण जैसी योजनाओं के लिए विशेष पैकेज देने का अनुरोध किया गया था.
वित्तीय सहायता की मांग
राज्य सरकार का मानना है कि उत्तराखंड में स्थायी जनसंख्या के मुकाबले सालभर आने वाले तीर्थयात्री और पर्यटकों की संख्या पांच गुना ज्यादा होती है. इससे इंफ्रास्ट्रक्चर और सुविधाओं पर अतिरिक्त दबाव पड़ता है. ऐसे में केंद्र सरकार से ‘फ्लोटिंग पॉपुलेशन’ को ध्यान में रखते हुए विशेष वित्तीय सहायता की मांग की गई है.
चारधाम यात्रा और कांवड़ यात्रा उत्तराखंड की अर्थव्यवस्था की रीढ़ हैं. सरकार ने बजट में धार्मिक पर्यटन के लिए अलग से वित्तीय प्रावधान की मांग की है. इसके तहत यात्रा मार्गों की साफ-सफाई, पर्यटकों के लिए आधारभूत सुविधाओं और सुरक्षित परिवहन व्यवस्था के विकास पर जोर दिया गया है. इसके अलावा, बागेश्वर से कर्णप्रयाग और रामनगर से कर्णप्रयाग के बीच रेलवे लाइन के सर्वेक्षण का अनुरोध किया गया है. यदि यह प्रोजेक्ट बजट में शामिल होता है तो इससे उत्तराखंड में परिवहन सुविधाओं में बड़ा सुधार होगा.
पर्यटन को भी बढ़ावा
रोपवे परियोजनाओं को भी राज्य सरकार ने बजट में प्रमुखता से शामिल करने की मांग की है. सरकार चाहती है कि उत्तराखंड समेत सभी पर्वतीय राज्यों में रोपवे प्रोजेक्ट्स के लिए केंद्रांश को 20% से बढ़ाकर 40% किया जाए. इससे प्रदेश में पहाड़ी इलाकों में आवाजाही आसान होगी और पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा.
उत्तराखंड सरकार ने भूजल संरक्षण के लिए एक नई केंद्र पोषित योजना शुरू करने का अनुरोध किया है. इससे राज्य में जल संरक्षण से जुड़े केंद्र और राज्य सरकार के प्रयासों को मजबूती मिलेगी. राज्य के दूरस्थ और दुर्गम क्षेत्रों में जल विद्युत परियोजनाओं को प्रोत्साहित करने के लिए 2 करोड़ प्रति मेगावाट की दर से 8,000 करोड़ रुपये की वायबिलिटी गैप फंडिंग (VGF) देने की मांग की गई है. इससे प्रदेश में हाइड्रोपावर प्रोजेक्ट्स को बढ़ावा मिलेगा और ऊर्जा संकट दूर होगा.
हेल्थ बजट पर ध्यान
उत्तराखंड में एक अखिल भारतीय आयुर्वेद संस्थान स्थापित करने की मांग भी बजट के लिए रखी गई है. इससे पारंपरिक चिकित्सा प्रणाली को बढ़ावा मिलेगा और उत्तराखंड आयुर्वेदिक चिकित्सा के एक प्रमुख केंद्र के रूप में विकसित हो सकेगा. इसके अलावा, सरकार चाहती है कि राज्य में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) और साइबर सुरक्षा से जुड़े उत्कृष्टता केंद्र (सेंटर ऑफ एक्सीलेंस) स्थापित किए जाएं. इससे राज्य में डिजिटल तकनीक और साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में शोध और प्रशिक्षण को बढ़ावा मिलेगा.
उत्तराखंड सरकार ने मनरेगा के तहत पर्वतीय राज्यों के लिए श्रम और सामग्री के अनुपात को 60:40 से घटाकर 50:50 करने का अनुरोध किया है. इससे राज्य में ग्रामीण विकास परियोजनाओं को गति मिलेगी. पर्वतीय क्षेत्रों में माल ढुलाई (ढुलान) के लिए अलग से वित्तीय सहायता की मांग की गई है. सरकार चाहती है कि मनरेगा में काम करने वाले सेमी-स्किल्ड मजदूरों की मजदूरी को अनस्किल्ड लेबर से अधिक किया जाए और स्किल्ड मजदूरों की पारिश्रमिक दर को भी बढ़ाया जाए.
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पेंशन बढ़ाने का अनुरोध
उत्तराखंड में प्राकृतिक आपदाओं की घटनाएं बढ़ रही हैं. ऐसे में राज्य सरकार ने केंद्र से राज्य आपदा मोचन निधि (SDRF) के मानकों में संशोधन करने की मांग की है, ताकि आपदा राहत कार्यों में अधिक सहायता मिल सके. इसके अलावा, 60 से 79 वर्ष की आयु के वरिष्ठ नागरिकों के लिए वृद्धावस्था पेंशन में केंद्रांश को बढ़ाकर 500 रुपये करने का अनुरोध किया गया है. इससे राज्य के बुजुर्गों को आर्थिक सहायता मिलेगी.
अब सबकी नजरें इस बात पर हैं कि 1 फरवरी को पेश होने वाले बजट में उत्तराखंड को कितना लाभ मिलेगा. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की विशेष रुचि को देखते हुए उम्मीद की जा रही है कि इस बार राज्य को बड़े इंफ्रास्ट्रक्चर और पर्यटन परियोजनाओं के लिए अच्छी-खासी राशि आवंटित की जाएगी.
राज्य सरकार को भरोसा है कि इस बजट में उनकी प्राथमिकताओं को जगह मिलेगी और उत्तराखंड को विकास के नए अवसर मिलेंगे. अब देखना यह है कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण इस बजट में उत्तराखंड की किन-किन योजनाओं पर मुहर लगाती हैं.
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