Unnao News: 'मेरे चाचा मेरी जान के दुश्मन', 8 माह की गर्भवती रेप पीड़िता की योगी सरकार से न्याय की गुहार
Unnao Rape Case: रेप पीड़िता ने कहा जब मैंने खर्च के लिए पैसे मांगे तो मेरे चाचा ने कहा कि मेरे केस के मैनेजमेंट में 7 करोड रुपये खर्च किए हैं और जो केस में पैसा मिला है वह अभी कम है.
UP News: उन्नाव में माखी कांड की रेप पीड़िता के पति का वीडियो वायरल होने के बाद अब रेप पीड़िता का वीडियो वायरल हुआ है. जिसमें उसने अपने चाचा और उनके परिवार के लोगों पर आरोप लगाते हुए बताया कि अब उसे उनसे जान का खतरा है. पारिवारिक लोगों ने शादी होने के बाद परेशान कर रखा है अब दर-दर की ठोकरे खा रही हूं.
दर-दर की ठोकरे खाने पर हूं मजबूर
उन्नाव में सोशल मीडिया पर वायरल हुए 3 मिनट 57 सेकंड के वीडियो में रेप पीड़िता ने कहा कि "मैं माखी रेप कांड की पीड़िता हूं मैं इस समय गर्भवती हूं आठ माह का बच्चा मेरे पेट में पल रहा है, लेकिन मैं दर-दर की ठोकरे खाने पर मजबूर हूं. मेरे पति जिन्होंने मेरा हाथ पकड़ कर रेप पीड़िता से सात फेरे लेकर शादी कर मेरे जीवन को आवाद किया. आज पैसों की लालच में मेरे चाचा महेश सिंह का परिवार मेरी और पति की जान का दुश्मन बन गया है. जब मैंने खर्च के लिए पैसे मांगे तो मेरे चाचा ने कहा कि मेरे केस के मैनेजमेंट में 7 करोड रुपये खर्च किए हैं और जो केस में पैसा मिला है वह अभी कम है. मैं 8 माह की गर्भवती हूं घर वालों ने भगा दिया, तो मेरे पति को मेरी हालत देखी नहीं गई. तो उन्होंने अपना एक वीडियो बनाकर न्याय की गुहार लगाई."
मुझे न्याय दिलाने की कृपा करें
इसके साथ ही रेप पीड़िता ने कहा- "इस समय मेरे हालात नहीं है कि मैं वीडियो बनाऊं. क्योंकि सरकार की तरफ से और अन्य संस्थाओं की तरफ से आर्थिक सहायता राशि मदद के लिए दिया था. चाचा महेश सिंह साजिश करके मेरे नाबालिग होने का फायदा उठाकर अपने परिवार के खाते में पैसा जमा कर दिया. लेकिन मुझे वहां पैसा नहीं मिला, जब आज मुझे सबसे ज्यादा पैसों की जरूरत है पैसे मांगे तो मुझे और मेरे पति से झगड़ा कर घर से बाहर निकाल दिया. जब हमारे पति ने वीडियो बनाकर वायरल किया उसके बाद हम लोगों को धमकी दे रहे हैं. मेरा हाथ जोड़कर निवेदन है मैं विनती करती हूं मुझे न्याय दिलाने की कृपा करें. सभी अधिकारियों तक हमारी आवाज पहुंचाई जाए जहां तक हो सके यूपी सरकार तक हमारी आवाज पहुंचाई जाए और निर्णय किया जाए. मेरे पैसे का निवारण किया जाए और जो आर्थिक रूप से मदद के लिए दिया है वह कानूनी रूप से हमें दिलाया जाए."