समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा है कि बीजेपी की सरकार से आज हर वर्ग के लोग दुखी हैं. उन्होंने कहा कि इतना दुख-तकलीफ किसी भी सरकार ने नहीं दिया. वो गुरुवार को लखनऊ के रमाबाई मैदान में जनवादी सोशलिस्ट पार्टी के जनवादी जनक्रांति महारैली को संबोधित कर रहे थे.उन्होंने कहा कि जिस मैदान में हम हैं, इसके बगल में पहले सरकार का हवाई अड्डा होता था. ये बिक गया है. बीजेपी के लोग आज एक शिलान्यास करने गए हैं.
जेवर एयरपोर्ट के बहाने किया बीजेपी पर हमला
अखिलेश यादव ने कहा, ''बीजेपी के ये कैसे लोग हैं जो एक तरफ हवाई अड्डा बेच रहे हैं और दूसरी तरफ एक हवाई अड्डा बना रहे हैं. मुझे याद है कि बीजेपी वालों ने कहा था कि हवाई चप्पल पहनने वाला हवाई जहाज पर बैठेंगे. यहाँ बैठे लोग बताएँ कि कितने लोगों ने हवाई यात्रा की है. दिल्ली एयरपोर्ट ही नहीं बल्कि सारे एयरलाइंस घाटे में चल रहे हैं. ये बीजेपी का गणित है क्या? ये एयरपोर्ट इसलिए बन रहे हैं कि जब ये बन जाएगा, सरकार इसे भी बेच देगी.''
रमाबाई मैदान में उमड़ी भीड़ से खुश सपा प्रमुख ने कहा कि अगर सरकारी संस्थाएं बिक जाएंगी तो कौन देगा आरक्षण? कौन देगा नौकरी? उन्होंने कहा कि बीजेपी ने कहा था कि किसानों की आय दोगुनी कर देंगे, बताओ किसको धान की कीमत मिली है. और जो खाद खरीदने गए तो क्या हुआ, सबने देखा. खाद महँगी, बिजली महँगी, डीजल-पेट्रोल महँगा, बीज महँगा. सब महँगा तो फिर कहाँ से आय दोगुनी करेगा किसान.
अखिलेश ने कहा, एक रंग वाले कभी भला नहीं कर सकते
उन्होंने कहा कि ओमप्रकाश राजभर, कृष्णा पटेल, महान दल के केशव देव मौर्य और जनवादी पार्टी के संजय सिंह को साथ लाए हैं. इतने सारे रंग को हम साथ लेकर आए हैं. एक रंग वाले कुछ भला नहीं कर सकते. इन्होंने पिछले 5 साल में किसी काम का उद्घाटन किया हो तो बताओ. इस सरकार का केवल एक ही काम है, नाम बदल देना और रंग बदल देना. मगर इस बार जनता ने ठान लिया है कि वो सरकार को बदल देगी. और मुख्यमंत्री का नाम भी बदल देंगे.
सपा प्रमुख ने कहा कि अभी इन्होंने तीन कानून वापस लिए हैं क्योंकि सरकार घबरा गई थी कि चुनाव का वक्त है किसान घर में घुसने नहीं देगा. मगर अभी एमएसपी कानून बनाए बगैर हम इन्हें दम नहीं लेने देंगे. इस अवसर पर अखिलेश यादव ने कहा, ''हम भरोसा दिलाते हैं कि जातीय जनगणना कराएंगे.'' उन्होंने कहा कि बीजेपी के पास नफरत के अलावा कोई और काम नहीं है. हमारी संस्कृति मिल-जुलकर रहने की रही है, जिसे बीजेपी खत्म करना चाहती है.