Bahraich Violence: उत्तर प्रदेश के बहराइच में दुर्गा विसर्जन के दौरान दो पक्षों के बीच हुई झड़प के बाद बवाल बढ़ गया है. इस घटना में मारे गए रामगोपाल मिश्रा की मौत के बाद सोमवार को जबरदस्त हिंसा और आगजनी हुई. जिसके बाद से पूरे इलाके तनाव है. हालात को देखते हुए इंटरनेट सेवा को भी बंद कर दिया गया है. वहीं इस बीच अब सवाल उठने लगा है कि क्या बहराइच में जो हिंसा हो रही है वो 'संयोग है या प्रयोग'.
बहराइच में ये हिंसा ऐसे वक्त में हुई है जब राज्य में 10 विधानसभा सीटों पर उपचुनाव की तैयारियां चल रहीं हैं. माना जा रहा है कि भारत निर्वाचन आयोग जल्द ही तारीखों का ऐलान कर सकता है. ऐसे में दो समुदायों के बीच जिस तरह इस घटना ने बड़ा रूप ले लिया है उसे लेकर कई तरह के सवाल है कि प्रदेश में जो मजहबी तनाव दिखाई दे रहा है उसके पीछे वजह उपचुनाव तो नहीं है?
बहराइच का उपचुनाव से कनेक्शन!
बहराइच की घटना को लेकर जमकर सियासत देखने को मिल रही है. बीजेपी प्रवक्ता सुधांशु त्रिवेदी ने भी इसे पिछले चार महीनों में किसी की ताक़त बढ़ने से जोड़ा है. बीजेपी नेता ने कहा है कि बहराइच की घटना को लेकर सीएम योगी ने सख्त आदेश दिए हैं. उपद्रवियों से सख्ती से निपटा जाएगा. वहीं उन्होंने हिंसा पर सवाल उठाते हुए कहा कि भारत को कमजोर करने की साजिश की जा रही है. हमें ये समझना होगा कि पिछले चार महीनों में इस तरह की घटनाओं में इजाफा क्यों हुआ है?
सुधांशु त्रिवेदी ने कहा कि एक बात समझना है कुछ महीने से किसकी ताकत बढ़ी है. पिछले कुछ समय में जिस तरह रेलवे के खिलाफ साजिश और इस तरह की घटनाएं हो रही है ये उन्हीं शक्तियों के टूल है. देश की जनता को सोचना चाहिए कि पिछले चार महीने में इस तरह की घटना क्यों बढ़ी है? किसकी ताकत बढ़ी है. इन सभी घटनाओं को एकसाथ देखना होगा.
सपा ने लगाया गंभीर आरोप
वहीं समाजवादी पार्टी ने भी इसे उपचुनाव से जोड़ा है. सपा ने आरोप लगाया कि उपचुनाव प्रभावित करने के लिए बहराइच दंगा कराया जा रहा है. चुनाव में लाभ लेने की कोशिश करेंगे कि 'बटेंगे तो कटेंगे.' सपा नेता वीरेंद्र सिंह ने सरकार पर निशाना साधते हुए इस हिंसक घटना के लिए सरकार पूरी तरह से जिम्मेदार बताया. उन्होंने कहा कि सरकार इस घटना के माध्यम से आने वाले उपचुनाव में लाभ लेगी. बंटोगे तो कटोगे जैसे नारों को बुलंद करेगी.
सपा नेता ने कहा कि बहराइच की घटना को लेकर बीजेपी भ्रमित करने की कोशिश करेगी. सरकार का दावा था की हमारे कार्यकाल में दंगे नहीं होते लेकिन यह क्या हो रहा है. इसके अलावा उन्होंने यह भी कहा कि एक विशेष जाति को निशाना बनाया जाता है. जबकि हमारे समाज का गौरव कहे जाने वाले यादव बंधुओ द्वारा सभी परंपराओं को अपने सर पर कंधे पर उठाया जाता है.
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