Exercie to Increae Greenery in UP: इस बार वन महोत्सव के दौरान उत्तर प्रदेश में 35 करोड़ पौधरोपण का लक्ष्य रखा गया है. वर्तमान लक्ष्य वर्ष 2021 के मुकाबले 5 करोड़ अधिक है. वन महोत्सव कार्यक्रम की शुरुआत 5 जुलाई को सीएम योगी चित्रकूट से करेंगे. कार्यक्रम के पहले ही दिन प्रदेश में 25 करोड़ पौधे लगाए जाएंगे. वन विभाग के साथ ही अन्य विभागों को भी अलग-अलग लक्ष्य दिए गए हैं. वन एवं पर्यावरण मंत्री डॉ. अरुण कुमार सक्सेना ने बताया कि वन विभाग के अलावा अन्य विभाग भी इस बार इन पौधों की जियो टैगिंग करेंगे.


पौधरोपण की प्रक्रिया को पारदर्शी बनाने के लिए जियो टैगिंग


मकसद है पौधरोपण के नाम पर कोई खेल ना हो और पूरी प्रक्रिया पारदर्शी हो. इसके अलावा जियो टैगिंग से इन पौधों की बाद में मॉनिटरिंग कर पता चलाया जाएगा कि सही सलामत बचे हैं. पौधरोपण का कार्यक्रम अलग-अलग चरण में होगा. वन विभाग 14 करोड़ पौधे लगाएगा. बाकी 21 करोड़ पौधों की जिम्मेदारी 25 अन्य विभागों को दी गई है. वन महोत्सव की शुरुआत के अगले दिन यानी 6 जुलाई को ढाई करोड़ पौधे लगाए जाएंगे. खास बात है कि ढाई करोड़ पौधों को चिह्नित स्थानों पर महिलाओं के नेतृत्व में लगाया जाएगा.


महिलाओं की अगुवाई में लगनेवाले ढाई करोड़ पौधों को 'शक्ति वन' का नाम दिया गया है. वन विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि शक्ति वन में 'देवियों' से संबंधित पौधों को जरूर लगाया जायेगा. उन्होंने कहा कि आम के फूल देवी सरस्वती को चढ़ाये जाते हैं, नीम शीतला माता और दुर्गा जी से जुडी है, ऐसे ही कदम पार्वती जी से संबंधित है. शक्ति वन की जिम्मेदारी महिलाओं को दिलाने का प्रयास होगा. इसी तरह 7 जुलाई को फिर से ढाई करोड़ पौधे लगाए जाएंगे और प्रदेश में जगह-जगह खाद वन विकसित किए जाएंगे. 


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15 अगस्त को 5 करोड़ पौधे लगाकर होगी 'अमृत वन' की स्थापना


15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस पर आजादी का अमृत महोत्सव के तहत हर ग्राम पंचायत और शहरी निकाय में कुल 5 करोड़ पौधे लगाकर 'अमृत वन' की स्थापना की जाएगी. हर ग्राम पंचायत में 75 पौधे लगाए जाएंगे. 75 पौधों में से 15 पवित्र स्थलों जैसे मंदिर, मस्जिद, चर्च में लगेंगे. इस दौरान प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालयों में बाल वन और उच्च शिक्षा एवं प्राविधिक शिक्षा संस्थानों में युवा वन स्थापित किए जाएंगे. बाल वन में लगाए जानेवाले फलदार और फूलदार पौधे बच्चों को शिक्षित औऱ जागरूक भी करेंगे.


हरियाली बढ़ाने के लिए पहले कार्यकाल में 100 करोड़ पौधरोपण


योगी सरकार के पहले कार्यकाल में पौधरोपण का रिकॉर्ड बना. पहले कार्यकाल में हरियाली बढ़ाने के लिए 100 करोड़ से अधिक पौधरोपण हुआ. अब सकारात्मक नतीजा सामने है. स्टेट ऑफ फारेस्ट की रिपोर्ट 2021 में खुलासा हुआ है कि कुल भौगोलिक क्षेत्रफल के 9.23 फीसद हिस्से में वनावरण है. 2013 में 8.82 फीसद वनावरण था. वर्ष 2030 तक सरकार ने रकबे को बढ़ाकर 15 फीसद करने का लक्ष्य रखा है. लक्ष्य पूर्ति के लिए सरकार अगले पांच साल में 175 करोड़ पौधों का रोपण करेगी. 175 करोड़ में से 35 करोड़ पौधे तो इसी वन महोत्सव के दौरान लगाये जायेंगे. 


वन एवं पर्यावरण मंत्री एके सक्सेना ने कहा कि पेड़ वहीं लगे जहां पर सुरक्षित और संरक्षित रह सके, जहां उसे पानी मिल सके, जैसे नगर निगम और नगर पालिका के पार्क, तालाब किनारे, स्कूल कॉलेज के अंदर, डिग्री कॉलेज के अंदर, विश्वविद्यालयों के अंदर, इंडस्ट्रीज के अंदर. अगर बाउंड्री के बाहर कोई पेड़ लगे तो ट्री गार्ड के साथ लगे. बरगद, पीपल, नीम, पाकड़, आंवला, इमली और फलदार, छायादार पेड़ लगाये जाएंगे. अंत्येष्टि स्थल पर भी पौधरोपण किया जाएगा. पेड़ लगाने से ज्यादा जरूरी है संरक्षण. 


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