UP Assembly Election 2022: वैश्विक महामारी कोरोना के नए वेरिएंट ने पांव पसारना शुरू कर दिया है. यूपी की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने भी इसपर चिंता जताई है. इस बीच गोरखपुर पहुंचे यूपी के डिप्टी सीएम डॉ. दिनेश शर्मा ने कहा कि जन विश्वास यात्रा में अनुमान से दोगुनी भीड़ हो रही है. रैलियों में कई जगहों पर मैदान छोटे पड़ने लगे हैं. इससे ये साफ है कि 2022 के यूपी विधानसभा चुनाव में बीजेपी पिछले रिकॉर्ड को स्वयं तोड़ेगी. इस दौरान ओमिक्रोन के खतरे के बीच विद्यालयों को लेकर हुए सवाल का जवाब देते हुए उन्होंने कहा कि इसके लिए विद्यालयों को गाइडलाइन जारी कर दी गई है.
बेरोजगारी दर हुई कम
गोरखपुर में एक कार्यक्रम में शामिल होने आए डिप्टी सीएम डॉ. दिनेश शर्मा ने कहा कि ओमिक्रोन के लेकर स्कूलों को गाइडलाइन जारी की गई है. उन्होंने कहा कि इसका पालन करने के निर्देश भी दिए गए हैं. उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार प्रत्येक क्षेत्र में अच्छा काम कर रही है. उन्होंने कहा कि जब वे सत्ता में आए थे, तो यूपी की बेरोजगारी दर 17.4 प्रतिशत रही है. आज 4.5 साल में 4.1 प्रतिशत की बेरोजगारी दर है. स्वास्थ्य, शिक्षा, सुरक्षा और कृषि-किसान के क्षेत्र में विकास के काम करके परिवर्तन लाया है.
बीजेपी अपना रिकॉर्ड खुद तोड़ेगी- शर्मा
दिनेश शर्मा ने कहा कि जनविश्वास यात्रा में जिस तरह से जगह-जगह जनसमर्थन मिल रहा है. 70 प्रतिशत जिलों में जाने का अवसर मिला है. जिस प्रकार जनता का विश्वास भीड़ के रूप में परिवर्तित होकर आया है वो अभूतपूर्व है. पिछले चुनाव में भी परिवर्तन यात्रा निकली थी. वे इसमें शामिल हुए थे. उन्होंने कहा कि लोगों में उत्साह दिखाई दे रहा है. ये एक सकारात्मक पहल है. सरकार ने पौने पांच साल में जो काम किया है. विपक्ष जिस प्रकार से निरुत्साहित तरीके से घर में बैठा है. जनता इस फर्क को समझ गई है. पिछले चुनाव परिणाम को बीजेपी स्वयं तोड़ेगी. जन विश्वास यात्रा पर उत्तर प्रदेश सरकार के विकास कार्यों का असर दिखाई दे रहा है.
इंतजाम से अधिक लोग पहुंच रहे-शर्मा
डिप्टी सीएम ने कहा कि, जनता घरों से जन विश्वास यात्रा को समर्थन दे रही है. इंतजाम 15 हजार का होता है, तो 25 हजार और 25 हजार लोगों के इंतजाम होते हैं, तो 50 हजार लोगों की भीड़ होती है. कहीं-कहीं मैदान छोटे पड़ने लगे हैं. प्राथमिक विद्यालयों की नियुक्तियों को लेकर बेरोजगार युवकों के प्रदर्शन के सवाल पर उन्होंने कहा कि कुछ लोगों की व्यक्तिगत परेशानियां होती हैं. उन्होंने कहा कि भारत के इतिहास में प्राथमिक विद्यालयों में शिक्षा के क्षेत्र में उत्तर प्रदेश में सबसे अधिक डेढ़ लाख शिक्षकों की नियुक्तियां हुई हैं. जो इतिहास है.
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