Mukhtar Ansari Case: पूर्वांचल का माफिया डॉन कहा जाने वाला पूर्व बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी इन दिनों ईडी की कस्टडी रिमांड में है. मुख्तार अंसारी की रिमांड का आज तीसरा दिन है. ईडी की टीम आज तीसरे दिन भी मुख्तार से पूछताछ कर रही है. सूत्रों के मुताबिक आज तीसरे दिन ईडी की टीम ने मुख्तार से पहले राउंड में तकरीबन सात घंटे तक पूछताछ की है.
सुबह पांच बजे से शुरू हुई पूछताछ
आज सुबह पांच बजे से शुरू हुई पूछताछ में ईडी का मुख्य फोकस मुख्तार अंसारी की विदेश यात्राओं और गाजीपुर में सरकारी जमीन पर कब्जा कर इस पर एफसीआई का गोदाम बनाए जाने के मामले में सरकारी अमले की मिली भगत पर था. ईडी की टीम ने आज मुख्तार अंसारी से यह जानने की कोशिश की कि, उसने साल 2005 में जेल जाने से पहले कितनी विदेश यात्राएं की थीं. वह किन- किन खाड़ी देशों में गया. दुबई जाने का उसका क्या मकसद था. दुबई में वह कितने दिनों तक था और वहां किन-किन लोगों से उसकी मुलाकात हुई.
सूत्रों के मुताबिक मुख्तार अंसारी ने ईडी की टीम को जानकारी दी कि सऊदी अरब में हज के लिए जाते वक्त वह दुबई गया था. वहां वह घूमने के मकसद से गया था. वहां किन-किन लोगों से उसकी मुलाकात हुई, इस बारे में उसे कुछ खास याद नहीं है. मुख्तार ने कहा कि दुबई गए हुए उसे तकरीबन दो दशक का वक्त बीत चुका है, ऐसे में सारी बातें याद रख कर उसे बता पाना संभव नहीं है.
ईडी ने मुख्तार अंसारी से मांगी ये जानकारी
ईडी की टीम ने मुख्तार अंसारी को जब यह बताया कि उसके पास उन लोगों की सूची है, जो उससे दुबई के होटल में मिलने हुए आए हुए थे, तो मुख्तार अंसारी हैरत में पड़ गया. उसने अपने बचाव में कहा कि पूर्वांचल के तमाम लोग दुबई में रहते हैं. वह वहां का विधायक रहा है. ऐसे में कई लोग उससे होटल में मिलने के लिए आए हुए थे, लेकिन उसे उन लोगों के बारे में कुछ खास याद नहीं है. उसने दुबई भ्रमण को पिकनिक टूर और मुलाकातों को आम बात बताया.
ईडी की टीम ने उससे से यह भी जानकारी मांगी कि वह कितनी बार हज या उमराह करने के लिए सऊदी अरब गया हुआ था.सऊदी अरब और दुबई में कारोबार से जुड़े हुए लोगों से मुलाकात और उसके बाद फोन पर संपर्क के बारे में ईडी ने ज्यादा फोकस किया. ईडी ने यह जानने की कोशिश की कि मुख्तार की कंपनियों के कारोबार में विदेशी पैसा तो नहीं लगा हुआ है.
इस मामले में भी हुई मुख्तार अंसारी से पूछताछ
विदेश यात्राओं के अलावा ईडी ने गाजीपुर के नंद गांव में मुख्तार अंसारी के परिवार द्वारा सरकारी जमीन पर कब्जा करने और उस पर गोदाम बनाए जाने और बाद में उसे फूड कारपोरेशन ऑफ इंडिया के भंडारण निगम को किराए पर दिए जाने के मामले में भी आज एक बार फिर से पूछताछ की. ईडी की टीम का फोकस इस बात पर था कि एफसीआई को गोदाम देने के मामले में मुख्तार के परिवार का ही सिंगल टेंडर क्यों पड़ा हुआ था. क्या एफसीआई के अफसरों की मिलीभगत की वजह से अन्य लोगों को इसकी जानकारी नहीं थी. या फिर मुख्तार के रसूख और डर के चलते बाकी लोगों को टेंडर नहीं डालने दिया गया था और यह काम मुख्तार के परिवार को मिल गया था. ईडी की टीम ने मुख्तार से यह भी जानकारी चाही कि उस वक्त गाजीपुर समेत उत्तर प्रदेश में तैनात रहे एफसीआई के किन-किन अफसरों से मुख्तार की पहचान थी और बांदा के जेल में मुख्तार अंसारी जिस मोबाइल फोन का इस्तेमाल करता था, उससे उसने किन अफसरों से कुछ भी बातचीत की थी.
FCI के त्कालीन अफसरों को बयान दर्ज कराने के लिए तलब कर सकती है ईडी
दरअसल, ईडी की टीम यह जानना चाहती थी कि सरकारी जमीन को मुख्तार के परिवार से गोदाम के लिए किराए पर लेने के मामले में एफसीआई के अफसरों और कर्मचारियों की मिलीभगत तो नहीं है. मुख्तार ने कड़ाई से की गई पूछताछ में ईडी को कुछ जानकारियां भी दी हैं. उम्मीद जताई जा रही है कि मुख्तार से मिली जानकारी के आधार पर ईडी की टीम जल्द ही फूड कारपोरेशन ऑफ इंडिया के तत्कालीन अफसरों को समन जारी कर उन्हें बयान दर्ज कराने के लिए तलब कर सकती है.
ईडी ने आज लिए गए बयान की वीडियो रिकॉर्डिंग भी कराई है, ताकि एफसीआई के अफसरों का बयान दर्ज करते वक्त उन्हें मुख्तार से हुई पूछताछ की वीडियो रिकॉर्डिंग को दिखाया जा सके. ईडी की टीम आज दूसरे राउंड में भी इन्हीं मुद्दों पर पूछताछ को आगे बढ़ाएगी. गौरतलब है कि पूर्व बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी इन दिनों ईडी की 10 दिनों की कस्टडी रिमांड में है. ईडी की टीम ने मनी लांड्रिंग केस में प्रयागराज की स्पेशल कोर्ट के आदेश पर मुख्तार को अपनी कस्टडी में लिया है.
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