UP Assembly Election: कौन हैं Swami Prasad Maurya जिनके बसपा छोड़ने पर मायावती ने कहा था- 'शुक्रिया'
Swami Prasad Maurya News: यूपी के पडरौना से विधायक स्वामी प्रसाद मौर्या, चुनाव से पहले फिर पाला बदल सकते हैं. उन्होंने योगी सरकार में काबीना मंत्री के पद से इस्तीफा दे दिया है.
यूपी चुनाव से पहले बीजेपी को बड़ा झटका लगा है. यूपी सरकार में श्रम मंत्री का जिम्मा संभाल रहे स्वामी प्रसाद मौर्य (Swami Prasad Maurya) ने कैबिनेट से इस्तीफा दे दिया है. कभी बहुजन समाज पार्टी (Bahujan samaj party) में रहे मौर्या पिछड़े समाज के बड़े नेता है.
आज उन्होंने योगी कैबिनेट से इस्तीफा दे दिया. ऐसी खबरें हैं कि वो सपा ज्वाइन कर सकते हैं. इस्तीफा इसके बाद अखिलेश यादव ने उनके साथ फोटो ट्वीट करते हुए सपा में स्वागत किया है. हालांकि खुद मौर्या ने सपा ज्वाइन करने पर अभी सस्पेंस रखा है.
कौन हैं स्वामी प्रसाद मौर्या
- मौर्या, फिलहाल यूपी सरकार में कैबिनेट मंत्री हैं और 5 बार विधायक रह चुके हैं. फिलहाल वह यूपी के पडरौना विधानसभा क्षेत्र से विधायक हैं.
- 1980 के दशक से राजनीति में पांव जमाए मौर्या ने साल 2012 से साल 2016 तक यूपी विधानसभा (UP Vidhan Sabha) में नेता प्रतिपक्ष का जिम्मा भी संभाला.
- वह बसपा के प्रदेश अध्यक्ष भी रह चुके हैं. हालांकि साल 2017 के यूपी विधानसभा चुनाव (2017 UP Assembly Elections) से पहले मौर्या 8 अगस्त 2016 को भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो गए.
- बीजेपी और बसपा से पहले मौर्या लोकदल में भी रह चुके हैं.
- इसके साथ ही उनकी बेटी संघमित्रा मौर्या फिलहाल यूपी के ही बदायूं लोकसभा सीट से संसद सदस्य हैं.
साल 2016 में बनाया था अपना संगठन
अगस्त 2016 में बसपा से इस्तीफा देते हुए उन्होंने पार्टी पर चुनावी टिकटों की खरीद-फरोख्त का गंभीर आरोप लगाया था. इन आरोपों को उस वक्त बसपा सुप्रीमो मायावती ने एक प्रेस वार्ता में खारिज किया. इतना ही नहीं मायावती ने मौर्या को खुद से पार्टी छोड़ने का शुक्रिया भी अदा किया था. इससे पहले जुलाई 2016 में ही उन्होंने एक अन्य संगठन - लोकतांत्रित बहुजन मंच बनाया और राजधानी लखनऊ स्थित रमाबाई आंबडेकर रैली ग्राउंड संबोधित किया था.
साल 2017 में यूपी में सीएम योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में बनी सरकार में मौर्या को श्रम और रोजगार कार्यालय, शहरी रोजगार और गरीबी उन्मूलन मंत्रालय दिया गया. इसके बाद साल 2021 में योगी कैबिनेट में बदलाव के बाद मौर्या श्रम, रोजगार, समन्वय मंत्री बन गए.
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