UP News: मुश्किल हुआ हथियारों के लिए लाइसेंस लेना, सेना जैसी परीक्षा से होगा गुजरना, आवेदन से पहले जान लें नियम
Arms License News: मुरादाबाद (Moradabad) जिला अस्पताल के मानसिक स्वास्थ्य प्रकोष्ठ में आवेदक पहुंचे हुए हैं. आवेदकों का शस्त्र लाइसेंस के लिए मनोवैज्ञानिक और व्यक्तित्व परीक्षण चल रहा है.
UP News: लाइसेंसी हथियार रखने का रसूखदारों में जबरदस्त क्रेज होता है. आवेदन की स्वीकृति के बाद शस्त्र लाइसेंस जारी होता है. अब आपको सेना जैसी कड़ी पक्रिया से गुजरना होगा. उत्तर प्रदेश में हथियार का लाइसेंस प्राप्त करने के नियम को सख्त कर दिया गया है. आवेदक को मनोवैज्ञानिक और व्यक्तित्व परीक्षण की सख्त प्रक्रिया से गुजरना होगा. मनोवैज्ञानिक और व्यक्तित्व परीक्षण सेना में भर्ती होने जा रहे आवेदक का लिया जाता है. शासन की तरफ से जारी दिशानिर्देश के अनुसार कवायद शुरू कर दी गई है.
मुश्किल हुआ हथियारों का लाइसेंस लेना
मुरादाबाद के जिला अस्पताल में मानसिक स्वास्थ्य प्रकोष्ठ शस्त्र लाइसेंस आवेदकों का मनोवैज्ञानिक और व्यक्तित्व परीक्षण कर रहा है. बता दें कि मानसिक विकारों का आकलन रोर्शच परीक्षण से होता है. परीक्षण में स्याही के धब्बों की छवियों को शामिल किया जाता है.
अभ्यर्थी या आवेदक छवियों का नतीजा बताता है. परीक्षण से भावनात्मक कार्यप्रणाली, व्यक्तित्व और मानसिक विकारों का पता चलता है. मानसिक विकारों का आकलन दूसरे तरीके से भी किया जाता है. थीमैटिक एपरसेप्शन पद्धति भी सेना भर्ती में अपनाई जाती है. थीमैटिक एपरसेप्शन टेस्ट से कल्पना का मूल्यांकन किया जाता है.
आवेदन से पहले जान लें क्या है प्रक्रिया
थीमैटिक एपरसेप्शन परीक्षण के दौरान आवेदक को स्क्रीन पर 11 चित्र और एक खाली स्लाइड दिखाई जाती है. आवेदक से चित्र के आधार पर तीन चार मिनट की कहानी लिखवाई जाती है. कहानी आवेदक के मनोवैज्ञानिक स्थिति और व्यक्तित्व का पता बता देती है.
परीक्षण के दौरान आवेदक की मानसिक बीमारी का भी आकलन हो जाता है. शस्त्र लाइसेंस आवेदकों से सेना के जैसे सवाल-जवाब भी किए जाएंगे. इसलिए अगर आप हथियार का शौक पूरा करने के लिए आवेदन देने जा रहे हैं तो प्रक्रिया को समझ लें. हथियार के लाइसेंस हासिल करने की प्रक्रिया को मुश्किल बना दिया गया है.
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