UP Nagar Nikay Chunav 2023: उत्तर प्रदेश के औरैया (Auraiya) जिले की दिबियापुर नगर पंचायत सीट पर मुकाबला भले ही त्रिकोणीय दिखाई दे रहा हो, लेकिन इस सीट पर बसपा प्रत्याशी पर टिकट मिलने को लेकर बड़ा आरोप लगा है. पूर्व में बीजेपी के नगर पालिका अध्यक्ष बीजेपी छोड़कर इस बार बसपा से टिकट लेकर चुनाव मैदान में हैं तो वहीं दूसरी तरफ बसपा से दिबियापुर विधानसभा से प्रत्याशी रह चुके व जिला पंचायत सदस्य रामकुमार अवस्थी ने बसपा से टिकट न मिलने से नाराज होकर अपनी पत्नी को निर्दलीय मैदान में उतारा है. इसके साथ ही बसपा के कई कार्यकर्ता बसपा प्रत्याशी अरविंद पोरवाल के पक्ष में वोट न मांगते हुए अपने पुराने कार्यकर्ता के साथ वोट मांग रहे हैं. 


वहीं रामकुमार अवस्थी ने नाम न लेते हुए अपनी पार्टी के कई कार्यकर्ताओं पर आरोप भी लगाया है जिस वजह से टिकट नहीं मिला. साथ ही बसपा प्रत्याशी को लेकर कहा कि रुपये लेकर भी बसपा के कार्यकर्ताओं का साथ नहीं मिल रहा. नगर पंचायत चुनाव को लेकर इस बार सभी दलों ने भले ही अपने अपने प्रत्याशियों को मैदान में उतारा हो, लेकिन इस नगर निकाय चुनाव में टिकट की नाराजगी से उम्मीदवार एक दूसरे के विरोध में है और खुद ही निर्दलीय चुनाव लड़ रहे है. ऐसे में बसपा के लिए लोकसभा चुनाव में इसका असर देखने को मिल सकता है, क्योंकि क्षेत्रीय कार्यकर्तओं का विरोध जोरों पर है.


क्या कहा रामकुमार अवस्थी ने
बसपा नगर पंचायत चुनाव में इस बार पूरी ताकत झोंके हुए है, लेकिन पार्टी में कार्यकर्ता नाराज हैं. दिबियापुर से पूर्व में विधानसभा प्रत्याशी रहे व बसपा से जिला पंचायत सदस्य रामकुमार अवस्थी ने बसपा से टिकट न मिलने पर अपनी पत्नी संध्या अवस्थी को मैदान में उतार दिया है. उन्होंने बसपा के कोऑर्डिनेटरों पर आरोप लगाया कि उनकी वजह से टिकट नहीं मिल पाया और उन लोगों ने मेरी बात बहनजी तक नहीं पहुचाई. 


रामकुमार अवस्थी ने कहा कि बसपा का सबसे पुराना कार्यकर्ता होने के बाद भी मैं नगर पंचायत सीट जीतूंगा और बसपा का ही पुराना सिपाही रहूंगा. ऐसे में मेरी टक्कर किसी से नहीं है, मेरे साथ सभी समाज के लोग है, यहां तक कि बसपा के सभी कार्यकर्ता मेरे साथ वोट मांग रहे हैं. यही बात बीजेपी छोड़कर बसपा में शामिल हुए बसपा प्रत्याशी अरविंद पोरवाल को बुरी लग रही है और वह यह कहते नजर आ रहे हैं कि लोगों से कि मुझसे रुपये भी ले लिया गया और बसपा के कोई कार्यकर्ता कोऑर्डिनेटर मेरे चुनाव में वोट नहीं मांगता दिख रहा है.


क्या कहा अरविंद पोरवाल ने
इधर पांच साल बीजेपी में रहकर नगर पालिका अध्यक्ष बने अरविंद पोरवाल ने दल बदल कर टिकट हासिल किया और दलित वोट पाने के लिए बसपा में शामिल हुए. वहीं सत्ता रह कर विकास न करने पर बीजेपी के कार्यकर्ताओं पर आरोप लगाया और अंतिम समय पर पार्टी छोड़ दी.  इस मामले को लेकर जब बसपा के प्रत्याशी व पूर्व दिबियापुर नगर पंचायत अध्यक्ष अरविंद पोरवाल से बात की तो वे उस विषय पर बात न करते हुए बीजेपी छोड़ बसपा में शामिल होने की बात कर यह कहते हुए नजर आए कि पिछली बार जो बीजेपी ने टिकट दिया था वह कोई अहसान नहीं किया था, बल्कि 36 सालों से बीजेपी के लिए पल्ली बिछाई थी. इसके साथ ही कोरोना काल में जो विकास नहीं हो सका उसे पूरा कराना है, जो बीजेपी की राजनीति के चलते नहीं हो सका.


क्या कहा बीजेपी प्रत्याशी ने
इधर बीजेपी के प्रत्याशी राघव मिश्रा ने बताया कि बीजेपी का लक्ष्य सबका साथ सबका विकास है. हम किसी को पराया नहीं मानते.  हमारे साथ सभी वर्ग के लोग हैं और मेरा लक्ष्य दिबियापुर सीट जीतकर विकास करना है. लड़ाई जैसा कुछ है ही नहीं, बीजेपी ही इस सीट से जीतेगी. बहरहाल हार जीत का रिजल्ट आने वाली 13 तारीख को पता लग जाएगा, लेकिन कहीं न कहीं आने वाले लोकसभा चुनाव में भी सभी पार्टियों को इसका असर देखने को मिल सकता है, क्योंकि कई कार्यकर्ताओं को टिकट न मिलने से आपस में विरोध शुरू हो गया है. 


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