Deepotsava 2022: अयोध्या दीपोत्सव में दीयों के साथ झांकियों की संख्या भी बढ़ी, 11 से बढ़ाकर 16 की गईं
Deepotsava 2022: राम नगरी अयोध्या में इस बार दीपोत्सव का नया वर्ल्ड रिकॉर्ड बनने जा रहा है. इसके साथ ही इस बार दीपोत्सव में झांकियों की संख्या भी बढ़ाई गई है. इस बार 11 की बजाय 16 झांकियां होंगी.
Ayodhya Deepotsava 2022: दीपावली के त्योहार पर अयोध्या (Ayodhya) में भव्य दीपोत्सव (Deepotsava) मनाने की तैयारियां जोरों शोरों से की जा रही हैं. इस बार का दीपोत्सव बेहद खास रहने वाला है. इस बार राम नगरी में 17 लाख दियों को जलाकर एक नया कीर्तिमान स्थापित किया जाएगा. जिस तरह दीपोत्सव में दियों की संख्या बढ़ाई गई है उसकी तरह इस खास मौके पर निकलने वाली झांकियों की संख्या भी ज्यादा होगी. पिछले दीपोत्सव में जहां 11 झांकियां थी वही इस बार इनकी संख्या बढ़कर 16 हो गई है. इन झांकियों में 11 झांकियां श्री राम की लीला पर होंगी तो 5 ऐसी झांकियां डिजिटल होंगी जो सामाजिक सरोकार जैसे नारी शिक्षा और सुरक्षा, 'बेटी पढ़ाओ बेटी बचाओ' पर आधारित होंगी.
दीपोत्सव में बढ़ाई गई झांकियों की संख्या
दीपोत्सव के दिन 23 अक्टूबर को यह सभी झांकियां अयोध्या के प्रवेश द्वार से निकलेगी और राम कथा पार्क तक जाएंगी. इनके आगे पीछे नृत्य संगीत की अलग अलग टोलियां चलेगीं जबकि झांकियों के मंच पर भगवान के विग्रह भी मौजूद होंगे. रामकथा पार्क में जब यह झांकियां पहुंचेगी तो मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इनकी अगुवाई करेंगे. इस बार यह भी संभावना है कि मुख्यमंत्री के साथ खुद प्रधानमंत्री मोदी भी उस समय वहां मौजूद हो सकते है. रामकथा पार्क तक पहुंचने के दौरान तमाम अयोध्यावासी इन झांकियों को अपने घरों की छतों और सड़कों पर खड़े होकर निहारते है और इन पर पुष्प वर्षा करते है.
डीएम ने दी कार्यक्रम की पूरी जानकारी
अयोध्या के डीएम नीतीश कुमार ने इस बारे में जानकारी देते हुए कहा कि पहले राम कथा पार्क में पिछले साल आपने देखा होगा साकेत कॉलेज से झांकियां निकलेगी. पिछली बार 11 झांकियां निकली थी इस बार हम लोग 16 झांकियां निकाल रहे हैं. जिसमें पांच डिजिटल झांकियां होंगी और इसके बाद राम कथा पार्क में जो भगवान श्री राम जी का राज्याभिषेक होता है उसके बाद हम लोग सरयू जी की आरती में जाएंगे. इसके बाद दीपोत्सव का जो मुख्य कार्यक्रम है लाइट एंड साउंड का उसके पहले दीपक जलाएंगे.
डीएम ने कहा कि दीपक असत्य पर सत्य, अन्याय पर न्याय की विजय का प्रतीक है. इसके जरिए अयोध्या दुनिया भर में ये संदेश देगा कि हम अपनी परंपरा को कायम रखें.
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