Azamgarh News: यूपी की आजमगढ़ जेल (Azamgarh Jail) में 26 जुलाई को हुई छापेमारी में कई मोबाइल (Mobile) और चार्जर बरामद होने के बाद हड़कंप मच गया था. इस मामले में जिला प्रशासन ने आठ कैदियों के खिलाफ सिधारी थाने में मुकदमा दर्ज कराया है. पुलिस अब इस मामले में जब्त मोबाइल के डेटा विश्लेषण की तैयारी में जुट गई है. पुलिस अधीक्षक अनुराग आर्य ने बताया कि कोर्ट की इजाजत के बाद जब्त किए गए मोबाइल के सीडीआर का विश्लेषण किया ताकि पता चल सके कि ये कैदी किससे बात करते थे. माना जा रहा है कि जांच में कई सफेदपोश चेहरे बेनकाब हो सकते हैं. 

 

छापेमारी में जेल से मिले थे 12 मोबाइल

दरअसल 26 जुलाई को आजमगढ़ जेल में डीएम विशाल भारद्वाज और एसपी अनुराग आर्य ने छापेमारी की थी. इस रेड के दौरान 12 मोबाइल, चार्जर, 98 पुड़िया गांजा और LED टीवी की बरामदगी हुई थी. इस मामले में जिला प्रशासन ने आठ बंदियों के विरुद्ध जिले के सिधारी थाने में मुकदमा दर्ज कराया है. आरोपियों में राकेश राय, शेषधर यादव, मनीष सिंह, कमलेश, प्रकाश जायसवाल, अरविंद यादव और दो अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया. 


 

मोबाइल के डेटा विश्लेषण की तैयारी
पुलिस अब इस मामले में बरामद मोबाइल के डेटा विश्लेषण की तैयारी में जुट गई है. जिससे पता लग सके की जेल के अंदर से बंदी किससे बात करते थे. एसपी अनुराग आर्य ने कहा की जांच में जिन-जिन का भी नाम बातचीत में सामने आएगा उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. पुलिस की इस कार्रवाई से निश्चित रूप से वो सफेद पोश चेहरे बेनकाब होंगे जो जेल के अंदर न सिर्फ बंदियों से बातचीत करते हैं बल्कि उनकी मदद भी करते हैं. पुलिस के इस कदम से इन सफेदपोश लोगों की परेशानी बढ़ना तय है. 


आपको बता दें कि इस मामले में शासन ने आजमगढ़ जेल के जेलर रविंद्र सरोज, डिप्टी जेलर श्रीधर यादव और दो बंदी रक्षकों अजय वर्मा और आशुतोष सिंह को सस्पेंड कर दिया है. डीजी जेल आनंद कुमार ने इन कर्मचारियों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की भी सिफारिश की है. 

 

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