Waqf Board Survey: उत्तर प्रदेश में मदरसों के सर्वे (Madrasa Survey) के बीच अब सरकार ने वक्फ बोर्ड की संपत्तियों (Waqf Board Property Survey) का भी सर्वे कराने का फैसला लिया है जिसे लेकर सियासत तेज हो गई है. यूपी सरकार के इस फैसले पर विपक्षी नेता सवाल उठा रहे हैं. मुरादाबाद (Moradabad) से समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) के सांसद डॉ एस टी हसन (Dr ST Hasan) ने इसे लेकर यूपी सरकार की नीयत पर प्रश्नचिन्ह लगा दिया है. उन्होंने कहा कि अगर सर्वे कराया जा रहा है तो सिर्फ मुस्लिम की वक्फ संपत्तियों का ही क्यों कराया जा रहा है? सभी धर्मों के धार्मिक स्थलों का सर्वे होना चाहिए. हिंदू मठ और मंदिरों का भी सर्वे होना चाहिए. 


सपा सांसद ने उठाए सरकार की नीयत पर सवाल


सपा सांसद एसटी हसन ने कहा कि उन्हें सरकार की नीयत पर इसलिए शक हैं क्योंकि उनका पिछला ट्रैक रिकॉर्ड ही ऐसा है. अगर सरकार की नीयत साफ है और अगर वो वक्फ संपत्तियों से अवैध कब्जे हटाना चाहती है और जिन लोगों ने बहुत कम किराये पर वक्फ की संपत्तियों पर कब्जा कर रखा है, सरकार उसे हटाना चाहती है तो हम इसका स्वागत करेंगे. 


हिन्दू मंदिर और मठों को लेकर कही ये बात
डॉ. एसटी हसन ने कहा कि जब मुस्लिमों की धार्मिक संपत्तियों का सर्वे हो रहा है तो दूसरे धर्मों के ट्रस्टों की संपत्तियों का सर्वे क्यों नहीं हो रहा है. उनके अंदर भी तो बहुत से विवाद हैं. अयोध्या में आपने देखा है कि किस तरह से संपत्तियों पर कब्जे हुए हैं और लोगों ने रुपये कमाए हैं. सपा सांसद ने कहा की वक़्फ़ संपत्तियों पर जहां भी सरकार ने कब्जे कर रखे हैं उनसे भी कब्जा मुक्त कराया जाए या अगर वह किराये पर हैं तो उनसे वर्तमान समय के अनुसार किराया लिया जाए.


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सर्वे को लेकर इस बात पर है आपत्ति


सपा सांसद ने कहा कि राजनीति में ऐसा होता है कि पर्दे के पीछे कुछ और होता है इसलिए हमें इस सर्वे पर आपत्ति है. हम चाहेंगे कि ईमानदारी से सभी धर्मों के धामिक स्थलों का सर्वे हो. आश्रमों का भी सर्वे हो दोहरा मापदंड नही होना चाहिए. आधुनिकीकरण के मदरसों के शिक्षकों का वेतन सरकार दे नहीं रही तो फिर सर्वे से क्या फायदा? सपा सांसद ने कहा कि जो भी सर्वे हो वह इंसानियत के हिसाब से सही हो और उसमें सरकार की नीयत अच्छी होनी चाहिए तभी हम उसका स्वागत करेंगे. 


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