UP Nikay Chunav 2023: यूपी निकाय चुनाव में बीडेपी (BJP) आक्रामक तरीके से मैदान में नजर आ रही है. खुद सीएम योगी (Yogi Adityanath) ताबड़तोड़ सभाएं कर रहे हैं. वहीं, दूसरी ओर समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) अभी तक कहीं भी प्रत्याशियों के समर्थन में प्रचार करते नजर नहीं आए हैं.
एक तरफ जहां सीएम योगी का पूरे चुनाव को लेकर जिलेवार पूरा कार्यक्रम बन चुका है. वहीं, दूसरी ओर अखिलेश यादव का फिलहाल चुनाव प्रचार से जुड़ा कोई कार्यक्रम सामने नहीं आया. ऐसे में लोगों के बीच चर्चा है कि अखिलेश यादव कहीं फिर से गलती तो नहीं दोहरा रहे हैं, जो आजमगढ़ और रामपुर लोकसभा के उपचुनाव में की थी.
एक दिन में 5-5 सभाएं कर रहे हैं सीएम योगी
सीएम योगी ने 24 मार्च को निकाय चुनाव के लिए प्रचार अभियान की शुरुआत पश्चिमी यूपी से की थी. इस दिन सीएम योगी ने सहारनपुर, शामली और अमरोहा में जनसभाएं की. इसके बाद सीएम योगी ने 25 अप्रैल को रायबरेली, उन्नाव और लखनऊ में जनसभाएं की. सीएम योगी क्योंकि कर्नाटक के चुनाव में भी स्टार प्रचारक हैं, ऐसे में 26 अप्रैल को वे कर्नाटक में चुनाव प्रचार करने चले गए. सीएम योगी गुरुवार को मथुरा, फिरोजाबाद और आगरा के साथ ही राजधानी लखनऊ में भी जनसभाएं की.
13 दिन में 65 सभाएं करेंगे सीएम योगी
निकाय चुनाव के हिसाब से सीएम योगी का जो कार्यक्रम बना है, उसके मुताबिक वे 13 दिन में लगभग 65 चुनावी सभाएं करेंगे. यानी हर दिन लगभग 5 जनसभा खुद सीएम योगी करेंगे. इसके तहत सीएम योगी 28 अप्रैल को सीतापुर के नैमिष, लखीमपुर खीरी, बलरामपुर में सभा करेंगे. इसके बाद 29 अप्रैल को सीएम योगी वाराणसी समेत कुछ अन्य जिलों में सभा करेंगे. इसके बाद बीच में एक दिन सीएम योगी 30 अप्रैल को कर्नाटक में जनसभाएं करेंगे. फिर, सीएम योगी एक मई को मुरादाबाद, प्रतापगढ़ और जौनपुर के साथ ही वाराणसी में एक और जनसभा करेंगे. सीएम योगी के अलावा डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य, डिप्टी सीएम बृजेश पाठक, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी और अन्य मंत्रियों के कार्यक्रम भी लगातार जारी किए जा रहे हैं.
समाजवादी पार्टी में है खामोशी
वहीं, अगर बात की जाए समाजवादी पार्टी की, तो सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने अब तक निकाय चुनाव को लेकर प्रचार करना भी शुरू नहीं किया है. हालांकि, पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम पटेल जरूर अलग-अलग जिलों में जाकर बैठकें कर रहे हैं. इससे पहले निकाय चुनाव को लेकर चर्चा थी कि सपा का गढ़ कहे जाने वाले जिलों में सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव और सपा विधायक व राष्ट्रीय महासचिव शिवपाल यादव के संयुक्त कार्यक्रम हो सकते हैं. इसके अलावा पश्चिमी यूपी को लेकर चर्चा थी कि अखिलेश यादव और रालोद अध्यक्ष जयंत चौधरी के संयुक्त कार्यक्रम हो सकते हैं. लेकिन निकाय चुनाव के पहले चरण का प्रचार थमने में 1 हफ्ते से भी कम का वक्त बचा है और अभी तक उनके कार्यक्रमों का कोई खाका तक सामने नहीं आया है.
बीजेपी ने कसा तंज
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव के चुनाव प्रचार में न जाने पर उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने तंज कसते हुए कहा कि समाजवादी पार्टी डिरेल हो चुकी है. उनके पास कहने के लिए कुछ नहीं है. जनता ने उन्हें पूरी तरह नकार दिया है. समाजवादी पार्टी कभी सीरियस नहीं रही प्रदेश के लिए.
कांग्रेस और बसपा में भी नहीं दिख रही सक्रियता
वैसे कांग्रेस और बसपा में भी निकाय चुनाव को लेकर बहुत अधिक सक्रियता नजर नहीं आ रही. कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी जब 2022 के विधानसभा चुनाव से पहले यूपी में एंट्री की थी, तो कहा था कि ये उनका घर है. बाकायदा लखनऊ के कौल हाउस में रुकना भी शुरू किया था. विधानसभा चुनाव में काफी एक्टिव रही, लेकिन उस चुनाव में भी कांग्रेस कोई कमाल नहीं कर पाई और 403 विधानसभा सीटों में से महज 2 सीटों से ही संतोष करना पड़ा. अब जबकि यूपी में निकाय चुनाव है, तो प्रियंका गांधी कहीं नजर नहीं आ रही हैं. कांग्रेस के जो भी बड़े चेहरे हैं, वो भी चुनाव प्रचार में नहीं दिख रहे हैं. इसी तरह बसपा की भी हालात हैं. बसपा सुप्रीमो मायावती या पार्टी के अन्य बड़े चेहरे कहीं भी निकाय चुनाव के प्रचार में नही दिख रहे.
सपा नेता ने वार्ड में जनसंपर्क की कही बात
इस मुद्दे पर सपा विधायक रविदास मेहरोत्रा कहते हैं कि हम लोग हर वार्ड में जनसंपर्क कर रहे हैं. जनता के बीच में लगातार जा रहे हैं. अखिलेश यादव लखनऊ समेत सभी बड़े शहरों में जनसभाएं करेंगे. लखनऊ में उनकी सभा करने का कार्यक्रम तय हो रहा है और परमिशन देने में जानबूझकर कर अधिकारी देरी करने का काम कर रहे हैं. हम एक तरफ सरकार से मुकाबला कर रहे हैं. वहीं, दूसरी ओर प्रशासन से मुकाबला कर रहे हैं और तीसरी ओर चुनाव आयोग से मुकाबला कर रहे हैं.
बीजेपी सत्ता व प्रशासन के दम पर लड़ रही चुनाव
बीजेपी सत्ता और प्रशासन के दम पर चुनाव लड़ रही है. हम लोग जनता और कार्यकर्ता के दम पर चुनाव लड़ रहे हैं. उन्होंने कहा कि यह चुनाव सरकार, प्रशासन और जनता के बीच हो रहा है. अब जनता को देखना है कि चुनाव में कौन जीतेगा. उन्होंने कहा कि अखिलेश यादव इस चुनाव को लेकर बहुत गंभीर है. उन्होंने सबसे पहले तीन-तीन विधायकों को एक नगर निगम पर प्रभारी बनाया. जैसे मैं कानपुर का प्रभारी था. दूसरी बात यह कि सभी विधायकों को क्षेत्रों में लगा दिया गया है. वह अपने-अपने क्षेत्र में जनता के बीच रहकर चुनाव लड़ने का काम कर रहे हैं. सपा अध्यक्ष लगातार लोगों से मिलकर चुनाव की रणनीति बनाने का काम कर रहे हैं. जल्द ही उनकी बड़ी जनसभाएं लखनऊ समेत प्रदेशभर में होंगी.
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