UP Nikay Chunav: BJP के आरोपों का सपा नेता अवधेश प्रसाद बोले- 'मामला लटकाने नहीं गए थे कोर्ट'
यूपी में निकाय चुनाव को लेकर पार्टियां जहां रणनीति बनाने में जुटी थीं वहीं कोर्ट के फैसले ने उनपर फिलहाल के लिए रोक लगा दी है क्योंकि जिस तरह की परिस्थितियां बनी हैं चुनाव आगे बढ़ सकता है.
UP News: इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने ओबीसी आरक्षण (OBC Reservation) के मामले में यूपी सरकार के ड्राफ्ट नोटिफिकेशन को खारिज करने और बिना ओबीसी आरक्षण के चुनाव कराने के आदेश दिए हैं. इस फैसले के बाद राजनैतिक आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया है. इसी बीच बुधवार को पूर्व मंत्री और सपा नेता अवधेश प्रसाद (Avdhesh Prasad) ने साफ तौर पर कहा है कि हाईकोर्ट में जो लोग गए थे, इस मामले को लटकाने के लिए नहीं गए थे बल्कि न्याय के लिए गए थे. इसी के साथ उन्होंने सरकार पर आरोप लगाया कि उसकी ना तो नीति ठीक है ना नियत.
हाल में ही नगर विकास मंत्री एके शर्मा ने अयोध्या में एक सवाल के जवाब में कहा था कि हाईकोर्ट कौन गया है, किस पार्टी के नेता और कार्यकर्ता गए हैं सब लोग जानते हैं. अब पहली बार सपा की तरफ से इस पर जवाब दिया गया है. अवधेश प्रसाद ने कहा, 'ऐसा नहीं है कि कोई मामला लटकाने गया था. हम गए हैं या जो लोग गए हैं, लटकाने के लिए नहीं गए हैं. न्याय के लिए गए हैं कि हमारे साथ न्याय किया जाए, इसके लिए गए हैं. सरकार कहती है कि हम न्यायालय के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट जाएंगे और नहीं भी जाएंगे तो सुप्रीम कोर्ट ने जो डायरेक्शन दिया है उसके अनुपालन में काम करेंगे लेकिन इस सरकार की ना तो नियत ठीक है ना नीति, इन्होंने जो भी कुछ कहा आज तक किया है क्या?'
जन-आंदोलन के पीछे अवधेश प्रसाद ने बताई यह वजह
हाईकोर्ट के फैसले के बाद अब पिछड़ी जातियों को रिझाने की राजनीति भी शुरू हो गई है. सपा ने आंदोलन करने की बात कही है. अवधेश प्रसाद ने इस पर कहा, 'हम लोग समझते हैं कि पिछड़ी जाति के आरक्षण पर खतरा है. इस खतरे को लेकर समाजवादी पार्टी जन-आंदोलन करेगी. जन-आंदोलन करेंगे कोई लाठी थोड़े चलाएंगे, जो लोकतंत्र में हमें अधिकार मिला है उसी के अनुरूप करेंगे.' आंदोलन का ही रास्ता क्यों सरकार से इस मुद्दे पर बातचीत क्यों नहीं ? इस पर उन्होंने कहा, 'सत्ता और विपक्ष लोकतंत्र के दोनों पहियों को चलाने के लिए हैं. दोनों का अपना योगदान है लेकिन यह विपक्षी पार्टी को मानते कहां हैं.'
ये भी पढ़ें -