UP Politics: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के एक बयान को लेकर राज्य की सियासत में नई हलचल है. गुरुवार को विधानसभा के मानसून सत्र के आखिरी दिन सीएम योगी ने प्रतिष्ठा और नौकरी वाला जो बयान दिया था, उसके कई मायने निकाले जा रहे हैं. इस बीच समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने बिना किसी का नाम लिए बड़े संकेत दिए हैं.
कन्नौज सांसद ने सोशल मीडिया साइट एक्स पर लिखा- 'दिल्ली का गुस्सा लखनऊ में क्यों उतार रहे हैं? सवाल ये है कि इनकी प्रतिष्ठा को ठेस किसने पहुंचाई? कह रहे हैं सामने वालों से पर बता रहे हैं पीछे वालों को. कोई है पीछे?'
अखिलेश यादव ने किया दावा
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सीएम योगी आदित्यनाथ के इस बयान को दिल्ली के प्रति गुस्सा बता दिया और पूछा कि इनकी प्रतिष्ठा को किसने ठेस पहुंचाई है. उन्होंने इशारा किया कि सीएम योगी यहां विपक्षी दलों को नहीं बल्कि किसी और को लेकर ये बयान दे रहे हैं. इस दौरान उन्होंने बिना नाम लिए दोनों डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य और ब्रजेश पाठक की ओर इशारा किया.
दरअसल, सीएम ने गुरुवार को सदन में सपा सदस्यों से मुखातिब होते हुए कहा, "आपको बुलडोजर से डर लगता है लेकिन यह निर्दोष के लिए नहीं है बल्कि उन अपराधियों के लिए है जो प्रदेश के नौजवानों के भविष्य के साथ खिलवाड़ करते हैं, प्रदेश के व्यापारियों और बेटियों की सुरक्षा में सेंध लगाने का काम करते हैं."
सीएम योगी आदित्यनाथ ने इस दौरान सख्त लहजे में कहा- "मैं यहां नौकरी करने के लिये नहीं आया हूं. मेरा दायित्व बनता है कि अगर कोई गड़बड़ी करेगा तो वह भुगतेगा भी. मैं अपना दायित्व मानता हूं कि हम लोग उससे लड़ेंगे. यह हमारी सामान्य लड़ाई नहीं है. यह प्रतिष्ठा की लड़ाई भी नहीं है. मुझे प्रतिष्ठा प्राप्त करनी होती तो उससे ज्यादा प्रतिष्ठा मुझे अपने मठ में मिल जाती है. इसकी मुझे कोई आवश्यकता नहीं है."
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