UP Lok Sabha Election 2024: उत्तर प्रदेश से में सोमवार को 5वें दौर में 14 लोकसभा सीटों पर वोटिंग हुई. इसमें अमेठी और रायबरेली की सीट भी थी जहां नेहरू-गांधी परिवार की साख की बड़ी परीक्षा है. शाम 5 बजे तक यूपी में 57.79% मतदान हो चुका था. अंतिम आंकड़ों का अभी इंतजार है. पांचवें चरण में यूपी की जिन 14 सीटों पर वोटिंग हुई उसमें 13 सीटें बीजेपी के पास थीं जबकि रायबरेली ऐसा किला था, जिसे कांग्रेस 2019 में भी बचा ले गई थी.
रायबरेली में इस बार राहुल गांधी ने चुनाव लड़ा. वोटिंग के दिन रायबरेली में ही मौजूद रहे. सबसे पहले चुरवा हनुमान मंदिर गए. दर्शन पूजन किया और फिर बूथों का निरीक्षण करने निकल पड़े. एक-एक कर राहुल गांधी कई बूथों पर गए लोगों से मुलाकात की.
रायबरेली कांग्रेस का गढ़ रही है. 2019 में सोनिया गांधी से चुनाव हारने वाले दिनेश प्रताप सिंह फिर एक बार मैदान में हैं और दावा है- अमेठी की तरह रायबरेली का भी इतिहास 4 जून को बदल जाएगा. दूसरी ओर रायबरेली से बीजेपी प्रत्याशी दिनेश प्रताप सिंह ने कहा कि दो सांसदों वाली पार्टी मोदी जी के नेतृत्व में दुनिया की सबसे बड़ी पार्टी बनी है. जैसे बीजेपी बढ़ी है वैसे ही रायबरेली बढ़ेगी. कांग्रेस को बूथ एजेंट नहीं मिल रहे हैं. प्रियंका गांधी की मेहनत विधानसभा चुनाव में दिख चुकी है.
जितना रोचक मुकाबला रायबरेली का रहा.उतनी ही रोचक जंग अमेठी की भी दिखी.एक तरफ राहुल गांधी को 2019 में हराने वाली स्मृति ईरानी थीं, तो दूसरी तरफ गांधी परिवार के करीबी.किशोरी लाल शर्मा.अमेठी से बीजेपी प्रत्याशी स्मृति ईरानी देश के विकास के लिए मैंने राष्ट्रसेवक के लिए मतदान किया है. अमेठी की जनता भी राष्ट्रहित में राष्ट्रसेवक के साथ है. वहीं कांग्रेस प्रत्याशी केएल शर्मा ने कहा कि जब जनता चुनाव लड़ने लग जाती है तो चीजें बदल जाती है. क्योंकि आप जनता से झूठे वादे नहीं कर सकते हैं. जनता का विकास रुका है उसे शुरू किया जाएगा.
5वें चरण के चुनाव में यूपी की कैसरगंज सीट भी सुर्खियों में रही. बृजभूषण शरण सिंह की जगह बीजेपी ने उनके बेटे करण भूषण को टिकट दिया.लेकिन चुनाव में साख.बृजभूषण की ही दांव पर लगी है. कैसरगंज के सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने कहा कि करणभूषण सिंह को कोई चुनौती नहीं है. माहौल एक दिन में नहीं बनता है. 2 लाख 87 हजार के अंतर से पिछले बार हम जीते थे. इस बार जीत का आंकड़ा डबल भी हो सकता है. किसी प्रकार की कोई चुनौती नहीं है.
ये दो नेता हैं गेम चेंजर!
यूपी की कौशांबी लोकसभा सीट भी सुर्खियों में रही. इसकी वजह यहां के प्रत्याशी नहीं बल्कि राजा भैया थे जो इस सीट पर असर डालते हैं.राजा भैया के समर्थक सपा प्रत्याशी के लिए जोर लगाते दिखाई दिये थे. जनसत्ता दल लोकतांत्रिक के अध्यक्ष रघुराज प्रताप सिंह राजा भैया ने कहा कि सिटिंग MP और बीजेपी उम्मीदवार विनोद सोनकर के खिलाफ एंटीइंकंबेंसी है. किसी को कोई भ्रम नहीं है. लोग हमारा रुख जान चुके हैं.
यूपी की सियासत में मायावती की चर्चा इस बार बहुत कम है. बीएसपी सुप्रीमो ने लखनऊ में वोट डाला.और पार्टी ने दावा किया.कि नतीजे चौंकाने वाले होंगे.इस बीच वोट देने के बाद BSP अध्यक्ष मायावती ने कहा कि मैंने ये महसूस किया है कि लोगों में काफी जोश है. बीएसपी के लोगों में काफी जोश है, न सिर्फ यूपी में बल्कि बाकि के राज्यों में भी बसपा के लोगों में जोश है.
महासचिव BSP सतीश चंद्र मिश्रा ने कहा कि बीएसपी चौंकायेगी पिछली बार से अधिक सीटें लाएगी. पार्टी बहुत अच्छा चुनाव लड़ रही है. पांचवें चरण के मतदान के साथ ही.यूपी की 53 सीटों पर वोटिंग खत्म हो गई.अब बची हैं 27 सीटें जिसपर छठवें और सातवें चरण में वोट डाले जाएंगे. अब सभी की निगाह मायावती और राजा भैया पर है. राजा भैया ने जहां खुले तौर पर सपा को समर्थन दे दिया है वहीं मायावती पूर्वांचल की कई सीटों पर सपा अलायंस और बीजेपी का गेम बिगाड़ सकती हैं.