UP News: कोलकाता में होने जा रही समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) की राष्ट्रीय कार्यकारिणी से ठीक पहले राष्ट्रीय महासचिव रामजी लाल सुमन की कसक बाहर आई है कि स्थापना के 30 वर्षों के बाद भी पार्टी को राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा क्यों नहीं मिला है. उन्होंने कहा कि बहुजन समाज पार्टी को राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा मिल चुका है. अभी कुछ समय पहले देश की राजनीति में आई आम आदमी पार्टी को राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा मिल चुका है तो आखिर समाजवादी पार्टी को राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा क्यों नहीं मिल पाया.


ऐसे में वो उम्मीद जता रहे हैं कि कोलकाता में होने जा रही राष्ट्रीय कार्यकारिणी में पार्टी के वरिष्ठ सदस्य इस बात को लेकर गंभीरतापूर्वक चिंतन मनन करेंगे कि कैसे पार्टी का उत्तर प्रदेश के बाहर विस्तार हो. साथ ही उन्होंने कहा कि पार्टी की मीटिंग में वो मुद्दे तय होंगे जिनसे कार्यकर्ताओं को यह पता चले कि जनता के बीच किन मुद्दों पर संघर्ष करना है. साथ ही उनका यह भी कहना है कि कई सारे आर्थिक, राजनैतिक और सामाजिक प्रस्ताव राष्ट्रीय कार्यकारिणी में पारित किए जाएंगे.हालांकि उनको अभी सार्वजनिक नहीं किया सकता.


'राष्ट्रीय कार्यकारिणी में इन मुद्दों को लेकर हो सकती है चर्चा'
राष्ट्रीय महासचिव रामजी लाल सुमन ने आगे कहा कि कई सारे ऐसे मुद्दे हैं जिस पर मुझे उम्मीद है कि राष्ट्रीय कार्यकारिणी में चर्चा हो सकती है और जातिगत आधार पर आरक्षण को भारतीय जनता पार्टी द्वारा खत्म करने की साजिश, इसके साथ ही जातिगत जनगणना को लेकर देश में एक माहौल बनाना, साथ ही शोषित, पीड़ित, दलित और वंचित लोगों के लिए समाजवादी पार्टी का मजबूत संघर्ष करना और किसानों से जुड़े तमाम मुद्दों को लेकर चर्चा हो.


राष्ट्रीय महासचिव रामजी लाल सुमन ने आगे कहा कि थर्ड फ्रंट को लेकर साल 2024 से पहले जो सियासत देखने को मिल रही है उसमें समाजवादी पार्टी का क्या अधिकृत फैसला होगा वह राष्ट्रीय अध्यक्ष ही तय करेंगे, यानी उनका कहना है कि थर्ड फ्रंट को लेकर समाजवादी पार्टी की भूमिका को लेकर अखिलेश यादव फाइनल फैसला करेंगे. अगर उनसे चर्चा की जाएगी तो वह जरूर सुझाव देंगे. वह जरूर मानते हैं कि भारतीय जनता पार्टी का विजय रथ रोकने के लिए सभी राजनैतिक शक्तियों को एक साथ आगे आना चाहिए जिनकी विचारधारा एक है और मुद्दों पर आधारित राजनीति करके ही एक बार फिर से खोई हुई राजनीतिक शक्ति पाई जा सकती है.


पिछले साल सितंबर 2022 में एक बार फिर से समाजवादी पार्टी का राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव के बनने के बाद पहली राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक कोलकाता में रखी गई है. इस बैठक की जिम्मेदारी पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष किरणमय नंदा को दी गई है जो पश्चिम बंगाल में वाममोर्चा की सरकार में मंत्री रह चुके हैं. इस कार्यकारिणी में 20 प्रदेशों के अध्यक्ष भी शामिल होंगे. वहीं राष्ट्रीय कार्यकारिणी के 60 से ज्यादा सदस्यों को दो दिवसीय राष्ट्रीय कार्यकारिणी में 18 और 19 नवंबर को आमंत्रित किया गया है. 


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