UP News: यूपी के गौ सेवकों को सीएम योगी का तोहफा, गोवंश के भरण-पोषण के लिए बढ़ाई धनराशि
UP Cows Servant: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि हाल के दिनों में गोवंश पर लंपी वायरस का दुष्प्रभाव देखने को मिला है. इस संक्रमण के कारण कई राज्यों में व्यापक पशुधन हानि हुई है.
UP Cowshed News: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को पशुओं में लंपी वायरस से बचाव के प्रबंधन की समीक्षा की और आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। इस दौरान उन्होंने गौसेवकों को उपहार दिया है. निराश्रित गोवंश स्थलों तथा गोवंश की सेवा कर रहे सभी परिवारों को गोवंश के भरण-पोषण के लिए वर्तमान में 30 प्रति गोवंश की दर से धनराशि उपलब्ध कराई जा रही है. अब इसे बढाकर 50 प्रति गोवंश किया जाएगा, इस संबंध में कोई भी बकाया अवशेष न रहे.
उन्होंने कहा कि निराश्रित गोवंश संरक्षण की दिशा में सतत प्रयासों के संतोषप्रद परिणाम मिल रहे हैं. वर्तमान में 6889 निराश्रित गोवंश स्थलों में 11.89 लाख गोवंश संरक्षित हैं. इनके साथ-साथ गोवंश संरक्षण के लिए संचालित मुख्यमंत्री सहभगिता योजना के भी आशातीत परिणाम मिले हैं.
अब तक 1 लाख 85 हजार से अधिक गोवंश इस योजना के तहत गो-सेवकों को सुपुर्द किए गए हैं. निराश्रित गोवंश स्थलों तथा गोवंश की सेवा कर रहे सभी परिवारों को गोवंश के भरण-पोषण के लिए वर्तमान में 30 रुपये प्रति गोवंश की दर से धनराशि उपलब्ध कराई जा रही है. अब इसे बढाकर 50 रुपये प्रति गोवंश किया जाएगा.
मुख्यमंत्री ने कहा कि हाल के दिनों में गोवंश पर लंपी वायरस का दुष्प्रभाव देखने को मिला है. इस संक्रमण के कारण कई राज्यों में व्यापक पशुधन हानि हुई है. प्रदेश में इसके प्रसार को रोकने के लिए हमें मिशन मोड में काम करना होगा. स्थिति सामान्य होने तक प्रदेश में पशुमेलों का आयोजन स्थगित रखा जाए. अंतरराज्यीय पशु परिवहन पर रोक लगाई जाए. पशुपालकों को संक्रमण के लक्षण और उपचार के बारे में पूरी जानकारी दी जाए. गोआश्रय स्थलों में अनावश्यक लोगों का प्रवेश प्रतिबंधित कर दिया जाए.
सीएम योगी ने कहा कि लंपी वायरस से सुरक्षा के लिए पशु टीकाकरण का विशेष अभियान चलाया जाना जरूरी है. किसी भी दशा में संक्रमण का प्रसार न हो. लंपी वायरस से संक्रमित गोवंश, स्वस्थ हुए गोवंश और गैर संक्रमित गोवंश के लिए पृथक-पृथक बाड़े की व्यवस्था की जाए. निराश्रित गोवंश स्थलों/कान्हा उपवनों के साथ-साथ आम पशुपालकों को भी इस बारे में जागरूक किया जाए.