उत्तर प्रदेश में 31 करोड़ की लागत से लाया गया ये रोबोट, अब डॉक्टर्स के लिए सर्जरी करना होगा आसान
वैज्ञानिक क्षेत्र में तरक्की करते हुए यूपी रोबोटिक सर्जरी की सुविधाएं यूरोलॉजी, एंडोक्राइन सर्जरी, गैस्ट्रो सर्जरी और सीवीएस में दी जाएंगी ।
लखनऊ, एबीपी गंगा। योगी सरकार ये दावा करती है की देश के सबसे बड़े सूबे यानी उत्तर प्रदेश में जबसे योगी आदित्यनाथ मुख्यमंत्री बने है, तभी से सूबे में विकास की गती लगातार बढ़ रही है। इसी कड़ी में शनिवार को SGPGI में रोबोटिक सर्जरी का उद्घाटन किया गया। इस दौरान चिकित्सा शिक्षा मंत्री आशुतोष टंडन भी मौजूद रहे। मंत्री आशुतोष टंडन ने इस मौके पर कैंसर मरीजों की सिकाई में काम आने वाली लीनियर एक्सिलेरेटर मशीन का भी उद्घाटन किया।आपको बता दें की इसी के साथ SGPGI प्रदेश का पहला रोबोटिक सर्जरी केंद्र बन गया है।
क्या-क्या हैं सुविधाएं
वैज्ञानिक क्षेत्र में तरक्की करते हुए यहां रोबोटिक सर्जरी की सुविधाएं यूरोलॉजी, एंडोक्राइन सर्जरी, गैस्ट्रो सर्जरी और सीवीएस में दी जाएंगी। इसके अलावा रोबोट संचालन के लिए संस्थान के 8 सर्जन्स को ट्रेनिंग दी है। संस्थान के CMS डॉ. अमित अग्रवाल को रोबोटिक सर्जरी का प्रभारी बनाया गया है।
क्या है फायदे
रोबोटिक सर्जरी की इस तकनीक से कई फायदे मिलेंगे। इसके इस्तेमान से न सिर्फ पेशेंट की जटिल सर्जरी के दौरान सामान्य से कम खून ख़राब होगा बल्कि सर्जरी की वजह से दर्द और संक्रमण का खतरा भी कम हो जायेगा।इसी के साथ रोबोटिक सर्जरी के इस्तेमाल से एंडोक्राइन, कार्डियक, सर एवं गले, अंग प्रत्यारोपण, यूरोलॉजिकल एवं गाइनको सर्जरी में भी मदद मिलेगी। इसका सबसे बड़ा फायदा ये होगा की मरीजों को सर्जरी के लिए लंबी वेटिंग लिस्ट का इंतज़ार नहीं करना पड़ेगा।
सरकार ने SGPGI में 31 करोड़ से ये रोबोट खरीदा है। सर्जरी को दौरान इसके चीरा लगाने की एक्यूरेसी शत प्रतिशत रहती है जिसकी वजह से चीरा छोटा होने से मरीज की रिकवरी जल्दी होती है और साथ ही सर्जरी में कम स्टाफ की जरुरत पड़ती है। बढ़ती तकनीक में डॉक्टर रोबोट को कंप्यूटर से कमांड देकर सर्जरी करते हैं। देशभर में ऐसे रोबोट्स की बात करें तो देश में इस तरह के कुल 62 रोबोट, लेकिन यूपी में ये पहला रोबोट है।