UP Traditional Dish: यूपी आएं तो जरूर लें मलाई मक्खन का स्वाद, खास सर्दियों में ओस के नीचे बनती है ये डिश, यहां देखें रेसिपी
यूपी की ट्रेडिशनल डिशेस में से एक है मलाई मक्खन. कानपुर, वाराणसी और लखनऊ में खासतौर पर फेमस, केवल सर्दियों में बनने वाली इस डिश की रेसिपी देखें यहां.
देश के बहुत से हिस्सों को जो चीजें आपस में अलग करती हैं उसमें से एक होता है वहां का स्वाद. एक जगह पर मिलने वाला खास खाना दूसरी जगह के खास व्यंजन से एकदम अलग होता है. जैसे उत्तर प्रदेश को ही ले लें. यहां एक प्रकार की स्वीट डिश मिलती है जिसे मलाई मक्खन या मक्खन मलाई कहते हैं. ये डिश केवल सर्दियों में बनती है. हालांकि बदलते दौर में लोग इसे कम ठंडे मौसम में भी बनाने लगे हैं लेकिन इसकी ऑथेंटिक रेसिपी ओस (Dew) के नीचे बनाने की ही है. जानते हैं इस खास रेसिपी की विशेषता और इसे घर पर बनाने का तरीका.
दूध के झाग से बनता है मलाई मक्खन –
यूपी के बहुत से इलाकों में मलाई मक्खन मिलती है लेकिन इसका खास स्वाद कानपुर, लखनऊ और वाराणसी में ही पाया जा सकता है. ये डिश मुख्य तौर पर कानपुर की है. जिसे अब बहुत सी जगहों पर कॉपी किया जाने लगा है. इस डिश में बेसिकली दूध के ऊपर के झाग को इस्तेमाल करते हैं.
ऐसे बनाते हैं –
मक्खन मलाई बनाने के लिए एक बड़े बर्तन में दूध को उबाला जाता है और दूध की मात्रा के हिसाब से उसमें क्रीम मिलाई जाती है. कुछ देर दूध पकाने के बाद उसमें केसर या नारंगी रंग, बहुत थोड़ी सी शक्कर और बारीक कटे ड्रायफ्रूट्स डाले जाते हैं. अब इस दूध को बड़ी बाल्टियों में करके रात भर के लिए ओस में रख दिया जाता है. जितनी ज्यादा ओस गिरती है मक्खन उतना ही अच्छा निकलता है.
अगले दिन सुबह होता है तैयार –
अगले दिन सुबह इस दूध को खूब फेंट जाता है जैसा कि मक्खन निकालने के लिए करते हैं. इसके लिए ब्लेंडर का प्रयोग कर सकते हैं. थोड़े-थोड़े दूध को मथते हैं और ऐसा करने से दूध में जो झाग आता है उसे निकलकर अलग रखते जाते हैं. इस झाग पर ऊपर से ड्राई फ्रूट्स बुरककर सर्व करते हैं. ये डिश दूध का झाग ही होती है जिसे मलाई मक्खन कहते हैं.
बहुत स्वादिष्ट होता है –
मलाई मक्खन हल्का मीठा, स्वादिष्ट और खाने में बहुत लाइट होता है. डाइट कांशस लोग भी इसे ले सकते हैं. जो लोग इसे घर पर बनाते हैं वे दूध उबालने और ठंडा होने के बाद आठ से दस घंटे के लिए फ्रिज में रख देते हैं और फिर मिक्सर में थोड़ा-थोड़ा दूध चर्न करते हैं और ऊपर आने वाले मक्खन को निकालते जाते हैं. इस बनाने में समय लगता है इसलिए पेशेंस बहुत जरूरी हैं. बाद में बचा दूध भी बहुत स्वादिष्ट होता है जिसे अलग से पिया जाता है.
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