Khatima News: खटीमा (Khatima) में मुख्यमंत्री के घर के पास बन रहे हेलीपैड में मिट्टी भरान की सरकारी परमिशन की आड़ में खनन माफियाओं ने प्राइवेट मकानों में मिट्टी बेचने का काला खेल शुरू किया. हेलीपैड में मिट्टी भरने की आड़ में रोज 50 से अधिक मिट्टी की ट्रालियां महंगे दामों में बेची जा रही हैं. वहीं स्थानीय प्रशासन पर मिट्टी खनन माफियाओं से मिलीभगत का आरोप लग रहा है. उधम सिंह नगर जिले के खटीमा में मुख्यमंत्री के घर के पास लोहिया हेड में एक हेलीपैड का निर्माण किया जाना है, जिसके लिए मिट्टी भरने का काम चल रहा है.


हेलीपैड में मिट्टी भरान की आड़ में अवैध रूप से मिट्टी खनन का काम जोरों पर है. जनवरी महीने में जिलाधिकारी द्वारा पूरे जिले में उप जिलाधिकारियों से मिट्टी खनन की परमिशन देने का अधिकार वापस ले लिया गया था. इसलिए अब रुद्रपुर जिलाधिकारी के ऑफिस से ही मिट्टी खनन की परमिशन दी जा रही है.  जिस कारण मिट्टी के खनन की परमिशन काफी मुश्किल से मिल पा रही है इसलिए मिट्टी खनन माफिया अवैध खनन के खेल में जुट गए हैं.


मिट्टी भरान की आड़ में चल रहा अवैध खनन
मुख्यमंत्री के घर के पास लोहिया हेड में निर्माणाधीन हेलीपैड के लिए 15 किलोमीटर दूर गांधीनगर से मिट्टी लाई जा रही है. वही इस हेलीपैड मिट्टी भरान की आड़ में जबरदस्त रूप से अवैध मिट्टी खनन का खेल चल रहा है. मिट्टी खनन माफिया द्वारा एलीफेंट की आड़ में गांधीनगर से मिट्टी उठाकर निर्माणाधीन मकानों में मिट्टी डाली जा रही है. जिसे वीडियो फुटेज में साफ देखा जा सकता है कि किस तरीके से खनन माफिया सरकारी मशीनरी से मिलकर लिट्टी खान का काला कारोबार चला रहे हैं.


वहीं इस मामले में जब उप जिलाधिकारी खटीमा रविंद्र बिष्ट ने बताया कि इसमें छापेमारी की जा रही है और पकड़े जाने पर नियमानुसार इन पर जुर्माना भी लगाया जाएगा और कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी, क्योंकि वर्तमान में इनको तहसील स्तर से कोई भी अनुमति प्राप्त नहीं हुई है, लेकिन बड़ा सवाल ये है कि बिना सरकारी मिलीभगत से इतना बड़ा अवैध खनन का कार्य नहीं हो सकता है.


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