उत्तराखंड में कितने हैं शिव मंदिर? किताब से होगा खुलासा, IAS धीराज सिंह गर्ब्याल ने राज्यपाल को सौंपी कॉपी
Uttarakhand News: इस पुस्तक में उत्तराखंड के शिव मंदिरों का विवरण दिया गया है. यह पुस्तक भगवान शिव की महानता को दर्शाती है और इसमें मंदिरों के ऐतिहासिक और पौराणिक महत्व के बारे में जानकारी है.
Uttarakhand News: राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह से शनिवार को राजभवन में जिलाधिकारी हरिद्वार धीराज सिंह गर्ब्याल ने शिष्टाचार भेंट की. उन्होंने राज्यपाल को जिला प्रशासन हरिद्वार द्वारा उत्तराखंड में स्थित भगवान शिव मंदिरों पर आधारित कॉफी टेबल बुक 'दि एटर्नल लॉर्ड– ग्रेट शिव टेम्पल्स ऑफ उत्तराखंड' भेंट की. यह पुस्तक भगवान शिव के महानतम स्वरूप सदाशिव से प्रेरित है. जिलाधिकारी धीराज सिंह का मानना है कि इस धरोहर को सुरक्षित तथा संरक्षित बनाये रखना हमारी वरीयता है और इस दिशा में लगातार नई योजनाओं का निर्माण और क्रियान्वयन किया जाता रहेगा.
इस पुस्तक में उत्तराखण्ड राज्य में स्थित भगवान शिव के लगभग सभी मन्दिरों की पौराणिक एवं ऐतिहासिक जानकारियों, महत्व, मंदिरों की स्थिति के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई है. यह पुस्तक राज्य में आने वाले शिव भक्तों के लिए बेहद उपयोगी साबित होगी. इस किताब के सहयोग से शिव भक्त उत्तराखण्ड राज्य में स्थित शिव मन्दिरों की जानकारी आसानी से प्राप्त कर सकते हैं तथा मंदिरों तक आसानी से पहुंच सकते हैं. राज्यपाल ने इस प्रकार के अभिनव प्रयास के लिए जिला प्रशासन हरिद्वार की सराहना की.
पुस्तक में शिव मंदिर की विस्तृत जानकारी
पुस्तक में केदार धाम से लेकर जागेश्वर तथा बेजनाथ जैसे अनेक पुरातन शिव मन्दिरों के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई है. ऐसे अनेक लोकप्रिय मंदिरों के अतिरिक्त राज्य के सुदूर क्षेत्रों में स्थित शिव मन्दिरों के बारे में जानकारियां उपलब्ध कराई गई हैं, जिनके बारे में अभी तक कई लोग नहीं जानते है. किताब में उत्तराखण्ड के इन पुरातन शिव मन्दिरो की बारे में कई आकर्षक तथ्य जुटाए गए हैं.
इन शिव मंदिरों की विभिन्न शैलीगत घटकों और प्रवृत्तियों के कलात्मक तथा ऐतिहासिक आयामों का परिचय भी दिया गया है. बता दें कि इस किताब के सहयोग से शिव भक्त उत्तराखण्ड राज्य में स्थित शिव मन्दिरों की जानकारी आसानी से प्राप्त कर सकते हैं और मंदिरों तक आसानी से पहुंच सकते है.
कौन हैं IAS धीराज गर्ब्याल?
अपनी तरह की उत्तराखंड से संबंधित यह पहली पुस्तक है जिसमें पूरे क्षेत्र के शिव मंदिरों के संबंध में व्यापक जानकारी प्रदान की गई है. इस पुस्तक की परिकल्पना उत्तराखंड के आईएएस अधिकारी धीराज गर्ब्याल के द्वारा की गई है. आईएएस ऑफीसर धीराज गर्ब्याल 2009 बैच के आईएएस अधिकारी हैं और अपने नवाचारी कार्यों के लिए जाने जाते हैं. इससे पहले पौड़ी और नैनीताल में जिलाधिकारी रहने के दौरान होम-स्टे और सेब की बागवानी को विशेष बढ़ावा देने के लिए जाने जाते हैं.
कॉफी टेबल बुक के बारे में यदि बात की जाए तो इससे पहले उत्तराखंड के बहुत से ऐसे शिव मंदिर हैं जो स्थापित्व और कला में अत्यंत समृद्ध हैं किंतु देश-विदेश के लोगों को अभी उनकी जानकारी नहीं है. पुस्तक का अभी हाल ही में मुख्यमंत्री के द्वारा विमोचन किया गया है. वर्तमान में जिलाधिकारी धीराज गर्ब्याल के द्वारा महामहिम राज्यपाल को यह पुस्तक भेंट की गई, महामहिम राज्यपाल के द्वारा इस कार्य हेतु धीराज गर्ब्याल और उनकी टीम की सराहना की गई है. अपने विशेष संकलन के कारण यह पुस्तक वर्तमान में विशेष चर्चा का केंद्र है.
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