Uttarakhand Vidhansabha Bharti Ghotala: उत्तराखंड में इन दिनों भर्ती घोटालों को लेकर राजनीति गरमा रही है. सबसे बड़ी बात यह है कि विधानसभा में बैक डोर से 72 नियुक्तियों के मामले ने बड़ा तूल पकड़ लिया है. विधानसभा में बैक डोर से हुई 72 नियुक्तियों में लगातार रोज कुछ ना कुछ खुलासे होते जा रहे हैं. अब ऐसे में विधानसभा में हुई नियुक्तियों को लेकर जहां कांग्रेस और बीजेपी आमने-सामने हो गई है वहीं सोशल मीडिया पर दो लिस्ट ऐसी सामने आई हैं. इसमें तत्कालीन विधानसभा अध्यक्ष और वर्तमान में वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल के समय 72 नियुक्तियों में 29 लोगों की लिस्ट आई है.


इस लिस्ट में मंत्री विधायक प्रदेश अध्यक्ष पूर्व प्रदेश अध्यक्ष खुद तत्कालीन विधानसभा अध्यक्ष और वर्तमान वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल के निजी सचिव पीआरओ और कई उत्तराखंड से बाहर के लोगों की सूची सामने आई है. दूसरी 29 लोगों की वह सूची वायरल हो रही है. जिसमें राज्य गठन यानी साल 2000 से लेकर अब तक विधानसभा में हुई नियुक्तियों में मंत्री विधायकों पूर्व मुख्यमंत्री प्रदेश अध्यक्ष पूर्व प्रदेश अध्यक्ष बीजेपी कांग्रेस यूकेडी के नेताओं विधायकों के रिश्तेदारों की भर्ती के लिस्ट सामने आई है. 


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उत्तराखंड विधानसभा भर्ती से जुड़ी 29 लोगों की इस लिस्ट में कोई ना कोई किसी का मंत्री, विधायक, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष, प्रदेश अध्यक्ष, पूर्व मुख्यमंत्री, मंत्री के पीआरओ के रिश्तेदार, विधानसभा में मंत्रियों के खास कर्मचारियों के रिश्तेदार, भांजा, भांजी, भतीजा, भतीजी, बहन, बेटा, साला, पत्नी, भाई, भाई का बेटा, बहन का बेटा, बहन की बेटी शामिल हैं. वहीं दूसरी लिस्ट में प्रेमचंद अग्रवाल के कार्यकाल में विधानसभा में सगे संबंधियों की एक लिस्ट वायरल हो रही है. जिसमें दावा हो रहा है कि 29 लोग वह कौन है और किस प्रभावशाली लोगों के रिश्तेदार हैं.


कांग्रेस ने कहा - 100 प्रतिशत सच्चाई 


इस मामले को लेकर बीजेपी मीडिया प्रभारी मनवीर सिंह चौहान का कहना है कि उनको लिस्ट के बारे में कोई जानकारी नहीं है. कई ऐसे लिस्ट सोशल मीडिया पर वायरल हुए हैं लेकिन उनका कहना है कि विधानसभा भर्ती मामले में सरकार सख्त है और पूरे मामले की जांच कर रही है. वहीं ठीक इसके विपरीत कांग्रेस का साफ कहना है कि लिस्ट जो वायरल हुई है उसमें 100 प्रतिशत सच्चाई है. कांग्रेस ने कहा कि सरकार इस मामले पर बचना रही है क्योंकि इसमें मौजूदा सरकार और तत्कालीन सरकार में मंत्री और प्रभावशाली व्यक्तियों के रिश्तेदार और नातेदार हैं.


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