Ram Mandir Excitement: वाराणसी से मुख्य पुरोहित के साथ-साथ अलग-अलग पूजन सामग्री को अयोध्या राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा आयोजन के लिए भेजा जा रहा है. बनारस का संगीत घराना पूरे विश्व में मशहूर है, शास्त्रीय संगीत ऐसे किसी भी प्रमुख आयोजन को बेहद खास बनाता हैं. अयोध्या राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा आयोजन में शहनाई बजाने के लिए वाराणसी के शहनाई वादक दुर्गा प्रसाद प्रसन्ना से संपर्क किया गया है.
वाराणसी लल्लापुरा के रहने वाले दुर्गा प्रसाद प्रसन्ना ने एबीपी लाइव से बातचीत में कहा कि राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा आयोजन 22 जनवरी को अयोध्या में शहनाई वादन के लिए मुख्य अधिकारियों द्वारा मुझसे संपर्क किया गया है. यह मेरे लिए अत्यंत हर्ष का विषय है कि संपूर्ण विश्व के आराध्य भगवान श्री राम के अयोध्या में ऐसे प्रमुख अवसर पर मुझे शहनाई वादन करने का अवसर मिलेगा. कुछ दिन पहले भी अयोध्या में संपन्न हुई राम जानकी विवाह कार्यक्रम में भी हमने शहनाई वादन किया था.
5 वर्ष की उम्र से शुरू किया शहनाई बजाने का काम
दुर्गा प्रसाद ने बताया कि उनकी उम्र तकरीबन 73 वर्ष है और 5 वर्ष की उम्र से ही उन्होंने शहनाई बजाने का काम शुरू किया. वह अपने परिवार में छठी पीढ़ी के रूप में इस शहनाई वादन की परंपरा को निभाते चले आ रहे हैं. उनके लिए गर्व का विषय है कि बनारस घराना और शास्त्रीय संगीत से उनका नाता रहा है. निश्चित तौर पर शास्त्रीय संगीत एक अमर संगीत है और इसे एक कड़ी तपस्या और साधना के आधार पर यह कलाकार जीवंत रखते हैं.
उस्ताद बिस्मिल्लाह खान को मानते हैं भगवान
बनारसी गलियों में रहने वाले दुर्गा प्रसाद भारत रत्न उस्ताद बिस्मिल्लाह खान को अपना आदर्श और भगवान मानते हैं. दुर्गा प्रसाद ने कहा कि बिस्मिल्लाह खान साहब ने शहनाई वादन की कला को एक नई ऊंचाई प्रदान की है और वह मेरे लिए हमेशा प्रेरणा रहेंगे. और अपनी कला क्षेत्र में उनको भगवान मानता हूं. शास्त्रीय संगीत से जुड़े स्वर्गीय गिरिजा देवी, छन्नू लाल मिश्रा सहित अनेक बड़े कलाकारों से दुर्गा प्रसाद सम्मानित भी हो चुके हैं.